बुवि : सात दिवसीय राष्ट्रीय पुस्तक मेला और अखिल भारतीय लेखक शिविर 24 मार्च से

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बुवि : सात दिवसीय राष्ट्रीय पुस्तक मेला और अखिल भारतीय लेखक शिविर 24 मार्च से


देश भर के साहित्यकार होंगे शामिल,अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी और बुंदेलखंड विमर्श कार्यक्रम का भी आयोजित

झांसी, 23 मार्च (हि.स.)। बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, झांसी द्वारा सात दिवसीय राष्ट्रीय पुस्तक मेला, अखिल भारतीय लेखक शिविर और साहित्य संसद अंतरराष्ट्रीय सृजनात्मक लेखन कार्यशाला तथा बुंदेली साहित्य उत्सव का आयोजन विश्वविद्यालय परिसर में 24-30 मार्च तक किया जा रहा है। जानकारी देते हुए हिंदी विभाग के अध्यक्ष और मेला संयोजक प्रो. मुन्ना तिवारी ने बताया कि इस वार्षिक पुस्तक मेला का इंतजार सभी को रहता है। यह साहित्य के क्षेत्र में बुंदेलखंड का सबसे बड़ा आयोजन है। पुस्तक मेला में देशभर के 60 से अधिक प्रकाशक हिस्सा लेंगे। मेला में 1 लाख से अधिक पुस्तकें पाठकों के लिए उपलब्ध होंगी।

कार्यक्रम में तीन सत्र होंगे। पहले सत्र में साहित्य से जुडे़ विभिन्न मुद्दों पर देश के प्रतिष्ठित साहित्यकार अपने विचार प्रस्तुत करेंगे। दूसरे सत्र में लेखक से बातचीत कार्यक्रम का आयोजन किया जायेगा। यहां पाठक और लेखक के बीच सीधा संवाद स्थापित होगा। शाम को बुंदेलखंड की संस्कृति पर आधारित सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा।

कार्यक्रम के महत्व के बारे में बताते हुए प्रो. मुन्ना तिवारी ने कहा कि शरीर में संतुलन का अभाव चिकित्सालय की ओर, आत्मा में संतुलन का अभाव अंधभौतिकता की ओर, बुद्धि में संतुलन का अभाव विभ्रम की ओर, हृदय में संतुलन का अभाव लोभ की ओर तथा संबंधों में संतुलन का अभाव स्वार्थपरता की ओर ले जाता है। इसी प्रकार साहित्यकर्म (सृजन और पाठ) में असंतुलन अनर्गल एकालाप की ओर ले जाता है। यह असंतुलन की ही उपज है कि साहित्य में भी अपनी डफली अपना राग चल रहा है। पुस्तक संस्कृति छपास की भेंट चढ़ चुकी है। बहुत आवश्यक है इनका संतुलन। यह आयोजन इस संतुलन को बनाने की दिशा में एक प्रयास है।

यह पुस्तक मेला किताबों की दुनिया के बीच देश विदेश के कवि, कथाकार, नाटककार, निबंधकार, फिल्मकार,पत्रकार, आलोचक के साथ पाठकों से समय का साक्षात्कार स्थापित करने का माध्यम बनेगा। यहां स्थापित और नवोदित साहित्यकारों की महफिल जमेगी। नवोदित रचनाकारों के लिए यहां ओपन माइक का आयोजन भी किया जाएगा। एक मंच पर कवि, कथाकार , आलोचक, प्रकाशक के साथ सहृदय - पाठकों को बैठक होगी। पुस्तक मेला और अखिल भारतीय लेखक शिविर का उद्घाटन 24 मार्च को बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग में दोपहर 1 बजे किया जाएगा। कार्यक्रम का उद्घाटन बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. मुकेश पाण्डेय की अध्यक्षता में संपन्न होगा। प्रो सिद्धार्थ सिंह, कुलपति, नव नालंदा विश्वविद्यालय बिहार मुख्य अतिथि होंगे, प्रसिद्ध कथाकार देवेंद्र मुख्य वक्ता होंगे।

बुंदेलखंड: एक विमर्श 29 - 30 मार्च को

लेखक से मिलिए कार्यक्रम 25 मार्च से प्रतिदिन दोपहर 2 से 4 बजे आयोजित किया जाएगा। 26 - 28 मार्च के मध्य हिन्दुस्तानी एकेडमी, प्रयागराज के तत्वावधान में त्रि दिवसीय अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी आयोजित होगी। इसमें दुनिया के कई देशों में हिंदी की सेवा कर रहे लोग हिस्सा लेंगे। इसी अवधि में युवाओं के लिए सृजनात्मक लेखन कार्यशाला का आयोजन भी किया जाएगा। 29 और 30 मार्च को बुंदेलखंड: एक विमर्श विषय पर चर्चा होगी।

प्रेसवार्ता में ये रहे उपस्थित

प्रेस वार्ता में डॉ. श्रीहरि त्रिपाठी, डॉ. अचला पांडेय, डॉ. बिपिन प्रसाद, नवीन चंद्र पटेल, डॉ. प्रेमलता श्रीवास्तव, डॉ. सुधा दीक्षित, डॉ. शैलेंद्र तिवारी, डॉ. द्यूती मालिनी, डॉ. आशीष दीक्षित, डॉ. सुनीता वर्मा, डॉ. आशुतोष शर्मा, डॉ. राघवेंद्र, कपिल शर्मा, डॉ. रामनरेश, डॉ. जोगेंद्र, गरिमा, रिचा सेंगर, आकांक्षा सिंह, मनीष मंडल, विशाल, अजय तिवारी आदि मौजूद रहे।

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हिन्दुस्थान समाचार / महेश पटैरिया

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