प्रो. गीता ने छत्तीसगढ़ विश्वविद्यालय में दिया औषधीय और सुगंधित पौधों पर व्याख्यान

नैनीताल, 28 मार्च (हि.स.)। कुमाऊं विश्वविद्यालय की अपर आईक्यूएसी निदेशक प्रो. गीता तिवारी ने गुरु घासीदास विश्वविद्यालय, बिलासपुर (छत्तीसगढ़) में आयोजित दो दिवसीय कार्यशाला में ‘डेवलपमेंट ऑफ हर्बल प्रोडक्ट्स फ्रॉम मैरीगोल्ड’ विषय पर ऑनलाइन व्याख्यान दिया और औषधीय एवं सुगंध युक्त पौधों पर जानकारी दी।
इस दौरान प्रो. गीता तिवारी ने औषधीय और सुगंधित पौधों से रसायनों के शोधन की विधि समझाई और तुलसी, ओरिगेनम, थाइमस, अदरक, वन हल्दी और मैरीगोल्ड के रासायनिक गुणों तथा पर्यावरण पर उनके प्रभाव पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि समुद्र सतह से ऊंचाई का पौधों की वृद्धि पर सीधा प्रभाव पड़ता है और उन्हें उगाने के लिए उपयुक्त परिस्थितियों का ध्यान रखना आवश्यक होता है। उन्होंने तुलसी पर चर्चा करते हुए कहा कि इसे छाया में सुखाने पर इसमें बेहतर रसायन और तेल की मात्रा पाई जाती है। ऑनलाइन व्याख्यान का संचालन गुरु घासीदास विश्वविद्यालय की प्रो. चारु अरोड़ा ने किया।
हिन्दुस्थान समाचार / डॉ. नवीन चन्द्र जोशी