मऊगंज: ग्राम गडरा में घर में फांसी पर लटके मिले पिता और दो बच्चों के शव, इसी गांव में पुलिस पर हुआ था हमला

मऊगंज, 4 अप्रैल (हि.स.)। मऊगंज जिले के गडरा गांव में शुक्रवार काे एक घर में तीन शव मिलने से हड़कंप मच गया है। घर के आस-पास रहने वाले लाेगाें को बदबू आ रही थी, जिसके बाद उन्होंने पुलिस बुलवाकर दरवाजा तोड़ा तो अंदर पिता और दाे बच्चाें का शव फंदे से झूलते हुए पाए गए। इस घटना के बाद वहां ग्रामीणों की भीड़ जुट गई। तीनों की मौत कैसे और किन परिस्थितियों में हुई, यह स्पष्ट नहीं हो सका है। स्थानीय पुलिस और प्रशासन की टीम मौके पर पहुंची और मामले की जांच में जुटी है। फिलहाल घटनास्थल पर फॉरेंसिक टीम को भी बुलाया गया है और मौका मुआयना कर शवों को कब्जे में लेकर पाेस्टमार्टम के लिए अस्पताल भेजने की तैयारी की जा रही है।
जानकारी के अनुसार गडरा गांव की इस घटना का खुलासा शुक्रवार सुबह उस समय हुआ, जब पड़ोसियों ने घर से आ रही बदबू को महसूस किया। खिड़की से देखा गया तो घर का दरवाजा अंदर से बंद था, जिसके बाद पुलिस को सूचित किया गया। पुलिस ने जब मौके पर जाकर दरवाजा खोला तो तीन शव को फंदे से लटके हुए थे। यह शव औसेरी साकेत के घर से बरामद किए गए, जिनमें औसेरी, उसकी बेटी मीनाक्षी (11) और बेटे अमन (8) के शव शामिल हैं। इस घटना के बाद कलेक्टर संजय कुमार जैन और एसपी दिलीप कुमार सोनी भी घटनास्थल पर पहुंचे और स्थिति का जायजा लिया। अवसेरी की पत्नी का पहले निधन हो चुका है औरे वे अपने दोनों बच्चों के साथ रहते थे। रीवा से फॉरेंसिक की टीम को घटनास्थल की जांच करने के लिए बुलाया गया है। पुलिस आस-पास के लोगों से पूछताछ कर पता लगाने की कोशिश कर रही है कि घर कब से बंद था और उन्होंने औसेरी और उसके बच्चों को आखिरी बार कब देखा था।
रीवा आईजी गौरव राजपूत ने बताया कि औसेरी साकेत के घर से बदबू आ रही थी। उसकी पहली पत्नी की मौत हो चुकी है। दूसरी पत्नी से औसेरी का अक्सर विवाद होते रहता था। इस कारण वह तनाव में रहता था। पड़ोसियों ने बताया कि आज सुबह से घर से बदबू आ रही थी। खिड़की से झांककर देखा तो दरवाजा अंदर से बंद था। इसके बाद पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने रीवा से फॉरेंसिक टीम और अतिरिक्त पुलिस बल को बुलाया है।
बता दें कि 15 मार्च को इसी गडरा गांव में बवाल हुआ था। तब सनी द्विवेदी नाम के युवक की आदिवासियों ने पीट-पीटकर हत्या कर दी थी। साथ ही एएसआई रामचरण गौतम पर भी हमला हुआ था, जिसमें वे शहीद हो गए थे। इस घटना में 15 से अधिक पुलिसकर्मी घायल हुए थे। तब से गांव में धारा 144 लागू है और पुलिस कैंप लगाकर सुरक्षा की जा रही है।
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हिन्दुस्थान समाचार / नेहा पांडे