पाण्डव राजभवन लाक्षागृह का भाग्योदय हुआ : ओंकार नाथ त्रिपाठी
--मुख्यमंत्री योगी एवं उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को किया जायेगा सम्मानित
प्रयागराज, 11 मार्च (हि.स.)। 13 वर्ष पूर्व श्रीमद्ज्योतिष्पीठाधीश्वर जगद्गुरू शंकराचार्य वासुदेवानन्द सरस्वती महाराज द्वारा महाभारत में वर्णित पाण्डवों के लाक्षागृह के सम्बन्ध में पर्यटन एवं तीर्थ विकास की जिस योजना का शिलान्यास किया गया था, निर्माण के पश्चात् मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा लोकार्पण कर दिया गया। इस प्रकार 5500 साल बाद पाण्डव राजभवन लाक्षागृह का भाग्योदय हो गया। यह जानकारी धर्मक्षेत्र लाक्षागृह पर्यटन स्थल विकास समिति के महामंत्री ओंकार नाथ त्रिपाठी ने द।ी
मुख्यमंत्री योगी की घोषणा के अनुसार पर्यटन विभाग के विकास की नई नीति के अनुसार महाभारत सर्किट की व्यवस्था करके उसमें लाक्षागृह को भी शामिल कर लिया गया है। धर्मक्षेत्र लाक्षागृह पर्यटन स्थल विकास समिति के सदस्यों एवं पदाधिकारियों सहित प्रयागराज की जनता ने इसके लिए मुख्यमंत्री सहित उप्र सरकार के प्रति आभार प्रकट किया है।
ओंकारनाथ त्रिपाठी ने जगद्गुरू शंकराचार्य की प्रेरणा से 2011 में हण्डिया तहसील स्थित लाक्षागृह किलाकोटि को पाण्डवकालीन लाक्षागृह होना बताते हुए कहा कि महाभारत के जतुगृह पर्व में वर्णित लाक्षागृह यही है, जो गंगाजी के किनारे स्थित है। अन्य प्रमाण भी इस स्थल पर ही पाये जाते हैं। शंकराचार्य ने इसे तीर्थस्थल के रूप में भी विकसित करने का आवाह्न किया है। क्योंकि परमपवित्र सोमवती अमावस्या का मेला द्वापर के समय से ही यहां पर स्नान पर्व के रूप में लगा करता है। धर्मराज युधिष्ठिर के लिए बनवाया गया राजभवन ”शिवभवन“ भी यही है।
उल्लेखनीय है कि धर्मक्षेत्र लाक्षागृह पर्यटन स्थल विकास समिति का गठन करके लाक्षागृह किलाकोटि के पर्यटन विकास के सम्बन्ध में विभिन्न निर्माण योजनाओं का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री योगी एवं उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को एक ज्ञापन दिया गया था। जिसके अनुसार निर्माण कार्य प्रारम्भ हो गया है। दो करोड़ अठहत्तर लाख की धनराशि से उक्त स्थल पर ‘शिव भवन’-कुन्ती भवन तथा पांचवे वेद महाभारत ग्रन्थ के रचयिता वेदव्यास के नाम पर वेदव्यास-द्वार का निर्माण व कुछ सम्पर्क मार्ग का भी निर्माण कराया गया है।
ओंकार नाथ त्रिपाठी ने बताया कि समिति के अध्यक्ष शंकराचार्यजी द्वारा बतायी गयी योजना अनुसार उक्त स्थल पर कई निर्माण कार्यों का आग्रह उप्र सरकार से किया गया। लाक्षागृह विकास योजना में जिला योजना व केन्द्र सरकार से भी धन निर्गत किया गया है। श्री त्रिपाठी ने आशा व्यक्त की है कि शीघ्र ही मुख्यमंत्री योगी एवं उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को बुलाकर सम्मानित किया जायेगा। इसके लिए शीघ्र ही समिति के अध्यक्ष जगतगुरू शंकराचार्य स्वामी वासुदेवानन्द सरस्वती से समय निर्धारित किया जायेगा और सरकार द्वारा निर्मित लोकार्पण शिलालेख भी लगाया जायेगा।
हिन्दुस्थान समाचार/विद्या कान्त/बृजनंदन
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