सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने से प्रतिवर्ष एक लाख करोड़ की हो रही हानि से मिलेगी मुक्ति : एके शर्मा
लखनऊ, 03 नवम्बर (हि.स.)। उत्तर प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने शुक्रवार को यहां कहा कि सौर ऊर्जा के प्रयोग को बढ़ावा देने से प्रदेश को प्रतिवर्ष 01 लाख करोड़ रूपये तथा प्रतिदिन 46 करोड़ रूपये से अधिक की हो रही हानि को पूरा किया जा सकेगा।
उन्होंने कहा कि विगत 03 से 04 वर्षों में प्रदेश के सुदूर गांवों, मजरों और घाटों में बिजली पहुंचाने से बिजली की मांग में अप्रत्याशित वृद्धि हुई और यह जहां पहले 18 से 19 हजार मेगावाट होती थी। इस वर्ष 28 हजार मेगावाट से भी अधिक की मांग तक पहुंच गई। आने वाले समय में इसमें और अधिक बढ़ोत्तरी होगी, जिसको सौर ऊर्जा उत्पादन के माध्यम से पूरा किया जायेगा।
ऊर्जा मंत्री एके शर्मा आज यहां एक होटल में उप्र सरकार और एम्बेसी आफ जापान के मध्य इन्ट्रैक्शन ऑन इमर्जिंग ऑन अपारच्यूनिटी विषय पर आयोजित कार्यशाला में रिन्यूएबल एनर्जी और ईवी सेक्टर सेशन को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रधानमंत्री के वर्ष 2070 तक नेट जीरो एमीशन के लक्ष्य को प्राप्त करने तथा अपनी ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए रिन्यूएबल एनर्जी को बढ़ाने का कार्य कर रही है। इससे जहां भारतीय संस्कृति के मूलमंत्र प्रकृति के संरक्षण और संवर्द्धन को बल मिलेगा, वहीं पेरिस सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पूरी दुनिया से रिन्यूएबल एनर्जी के क्षेत्र में जाने का आवाह्न करने से भारत की प्रतिबद्धता भी जगजाहिर होगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में विभिन्न क्षेत्रों में ऊर्जा की मांग बढ़ रही है। इस दृष्टि से भी ऊर्जा के परम्परागत स्रोतों से भी उत्पादन करना आवश्यक हो गया है। साथ ही ग्लोबल वार्मिंग के खतरों से बचने के लिए भी ऊर्जा उत्पादन के नये स्रोतों पर कार्य करना जरूरी है।
जापानी कम्पनियों से उप्र में रिन्यूएबल एनर्जी के क्षेत्र में निवेश करने का आग्रह
एके शर्मा ने भारत में जापान के राजदूत हिरोशी सुजुकी और जापानी कम्पनियों के प्रतिनिधियों से प्रदेश में रिन्यूएबल एनर्जी के क्षेत्र में निवेश करने तथा उद्योग लगाने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि उप्र में रिन्यूएबल एनर्जी के क्षेत्र में निवेश की अपार संभावनायें हैं। इसके लिए प्रदेश सरकार ने निवेशकों को सहूलियतें देने के लिए सौर ऊर्जा और बायो एनर्जी नीति बनाई है। मंत्री ने सुजुकी और जापानी कम्पनियों के प्रतिनिधियों को यह भी आश्वासन दिया कि सोलर प्लान्ट से जो भी ऊर्जा का उत्पादन किया जायेगा उसे प्रदेश की ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए खरीदा जायेगा। उन्होंने यह भी आग्रह किया कि सौर ऊर्जा के उत्पादन में लगने वाले उपकरणों, सेल और प्लेटों का भी यहां पर उत्पादन करने में सहयोग प्रदान करें, जिससे कि विदेशों से इन्हें न मंगाना पड़े।
उप्र में 25 हजार मेगावाट सोलर एनर्जी उत्पादन का लक्ष्य
ऊर्जा मंत्री ने बताया कि प्रदेश में 25 हजार मेगावाट सोलर एनर्जी उत्पादन का लक्ष्य है। सरकार प्रथम चरण में 04 हजार मेगावाट सौर ऊर्जा उत्पादन के लिए बिड ला रही है। द्वितीय चरण में 03 हजार मेगावाट सौर ऊर्जा उत्पादन के लिए बिड लाई जायेगी। उन्होंने कहा कि यहां घरेलू उपभोक्ता विद्युत का सबसे बड़ा उपभोगकर्ता है। इनकी ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए रूफ टॉप को बढ़ावा दिया जा रहा है तथा किसानों के लिए इस वर्ष 01 अप्रैल, 2023 से बिजली मुफ्त दी जा रही। बिजली की कमी को पूरा करने के लिए कृषक फीडरों का भी सोलराइजेशन किया जा रहा है।
नगरीय क्षेत्रों में इलेक्ट्रिक वाहनों को चलाने पर बल दिया जा रहा
एके शर्मा ने कहा कि प्रदेश के नगरीय क्षेत्रों में सुविधा की दृष्टि से इलेक्ट्रिक वाहनों को चलाने पर बल दिया जा रहा है। इसके लिए भी आधारभूत ढांचा तैयार किया जाना है, जिसमें चार्जिंग स्टेशन, एनर्जी स्टोरेज बनाये जाने हैं। इलेक्ट्रिक वाहनों और बैटरी आदि के निर्माण में भी निवेश की जरूरत है। इससे नगरों में बढ़ रहे प्रदूषणों से मुक्ति मिलेगी और लोगों को रहने के लिए स्वच्छ वातावरण मिलेगा।
जापानी कम्पनियां ग्रीन एनर्जी के क्षेत्र में निवेश करने को इच्छुक हैं : सुजुकी
जापान के राजदूत हिरोशी सुजुकी ने सौर ऊर्जा के क्षेत्र में निवेश को लेकर जापानी कम्पनियों की रूचि से अवगत कराया। उन्होंने इस क्षेत्र में निवेश के लिए प्रोत्साहित करने हेतु ऊर्जा मंत्री का धन्यवाद भी किया। उन्होंने कहा कि भविष्य में जापानी कम्पनियां इस क्षेत्र में अपनी भागीदारी निभायेंगी। ग्रीन एनर्जी के क्षेत्र में भी निवेश करने के लिए इच्छुक और उत्साहित हैं।
अपर मुख्य सचिव ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत महेश कुमार गुप्ता ने सौर ऊर्जा नीति और बायो एनर्जी पॉलिसी के तहत मिलने वाले लाभों के बारे में जानकारी दी और उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार सौर ऊर्जा से विद्युत उत्पादन को बहुत प्रोत्साहित कर रही है। सेमिनार में नेडा के डायरेक्टर अनुपम शुक्ला, ओएमसी पावर लि0 के सीईओ रोहित चन्द्रा, फिक्की और जापानी कम्पनियों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
हिन्दुस्थान समाचार/ पीएन द्विवेदी/राजेश
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