दुनिया के लिए एकता व अखण्डता का उदाहरण है भारत का संविधान : डॉ. रीता जोशी
कानपुर, 08 नवम्बर (हि.स.)। भारत विविधताओं से भरा देश है और यहां पर अनेक प्रकार की बोलियां और धर्म से संबंधित लोग रहते हैं। इन सबको देखते हुए भारत रत्न डॉ. भीमराव राव अंबेडकर और उस दौरान के राजनीतिज्ञों ने देश को ऐसा संविधान दिया जो दुनिया के लिए एकता व अखण्डता का सबसे बड़ा उदाहरण है। यह बातें बुधवार को छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय (सीएसजेएमयू) में लोकतंत्र एवं संविधान विषय पर प्रयागराज की सांसद डॉ. रीता बहुगुणा जोशी ने कही।
राष्ट्रीय युवा संस्थान एवं छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में द्वितीय लक्ष्मी रमण आचार्य मेमोरियल लेक्चर का आयोजन सीनेट हाल सीएसजेएमयू में किया गया। मुख्य अतिथि के रूप में प्रयागराज की सांसद प्रो० रीता बहुगुणा जोशी ने छात्र एवं छात्राओं को बताया कि किस प्रकार संविधान का निर्माण हुआ और दुनिया के सबसे बड़ा लोकतंत्र किस प्रकार विविधताओं का देश होते हुए भी दुनिया के लिए एकता और अखंडता का सबसे बड़ा उदाहरण है।
कुलपति प्रो० विनय कुमार पाठक ने बताया कि जिस प्रकार संविधान द्वारा दिए गये मूल अधिकारों के लिए हम अपनी आवाज उठाते हैं उसी प्रकार मूल कर्तव्यों के प्रति भी हमें जागरूक होने की जरुरत है और छात्र जीवन कर्तव्यों का प्रतिरूप है।
राष्ट्रीय युवा संस्थान के निदेशक विभूति रमण आचार्य द्वारा युवाओं से लोकतंत्र को और मजबूत एवं समाज सेवा के क्षेत्र में कार्य करने का आह्वान किया गया।
इस दौरान पूर्व आईएएस राजीव शर्मा, प्रो० संदीप सिंह, कुलसचिव डॉ अनिल कुमार यादव, डॉ प्रशांत, डॉ अभिषेक मिश्रा, डॉ मानस उपाध्याय, डॉ अनीता अवस्थी, डॉ किरण झा, डॉ उर्वशी, सत्येंद्र सिंह चौहान आदि उपस्थित रहें।
हिन्दुस्थान समाचार/अजय/बृजनंदन
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