लखनऊ के ब्राह्मण मतदाताओं में ब्रजेश पाठक सक्रिय, सपा नेता निष्क्रिय
लखनऊ, 10 मई (हि.स.)। उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण की लखनऊ लोकसभा सीट पर ब्राह्मण मतदाता सदैव निर्णायक की भूमिका में रहे हैं। इसी सीट से भारत रत्न अटल बिहारी बाजपेयी चुनाव जीतकर संसद पहुंचते थे। लोकसभा चुनाव 2024 में लखनऊ के ब्राह्मण मतदाताओं में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक सक्रिय रुप से भाजपा प्रत्याशी का चुनाव प्रचार कर रहे हैं। वहीं समाजवादी पार्टी के ब्राह्मण चेहरे सुशील दीक्षित ब्राह्मण मतदाताओं में निष्क्रिय हैं तो पूजा शुक्ला पूरी तरह सक्रिय नहीं हो सकी हैं।
भाजपा की ओर से उत्तर प्रदेश की तमाम लोकसभा सीटों पर उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक चुनाव प्रचार कर रहे हैं। ऐसे में ब्राह्मण प्रत्याशी वाली लोकसभा क्षेत्रों में ब्रजेश पाठक की जनसभाएं लगायी जा रही हैं या फिर उन सभी लोकसभा क्षेत्रों में उपमुख्यमंत्री को प्रचार का जिम्मा दिया जा रहा है, जहां पर ब्राह्मण मतदाता निर्णायक की भूमिका निभा रहे हैं। कन्नौज, गोरखपुर में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक की जनसभा की मांग की जा रही थी, जिसे देखते हुए भाजपा के प्रदेश पदाधिकारियों ने ब्रजेश पाठक की वहां जनसभा के कार्यक्रम तय किए।
लखनऊ में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक छात्र राजनीति से सक्रिय हैं। भाजपा प्रत्याशी राजनाथ सिंह से उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक की नजदीकी भी जगजाहिर है। लोकसभा चुनाव में राजनाथ सिंह के लिए ब्राह्मण मतदाताओं के बीच ब्रजेश पाठक जमकर प्रचार कर रहे हैं। उपमुख्यमंत्री ने कैण्ट विधानसभा में ही चार बड़ी बैठकें और जनसभाओं को किया। रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट को लखनऊ कैण्ट सीट पर चुनाव प्रचार के लिए भेजा गया, तो उन्होंने ब्राह्मण समाज में ब्रजेश पाठक की क्षमता को भांप लिया।
लोकसभा चुनाव के दौरान ही समाजवादी पार्टी के ब्राह्मण चेहरे सुशील दीक्षित को महानगर अध्यक्ष पद से पार्टी ने हटा दिया था। समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी रविदास मेहरोत्रा के लिए सुशील दीक्षित अभी खुल कर मैदान में नहीं आ सके है। उनके समर्थक बताते हैं कि सुशील दीक्षित इस वक्त कन्नौज में चुनाव प्रचार में जुटे हैं। सुशील दीक्षित लखनऊ कैण्ट क्षेत्र से आते हैं और उनके ढेर सारे रिश्तेदार उसी क्षेत्र में ही रहते हैं। जिसके कारण ब्राह्मण मतदाताओं में सुशील दीक्षित पकड़ रखते हैं।
लखनऊ उत्तर में भाजपा विधायक नीरज बोरा को चुनाव में कड़ी टक्कर देने वाली समाजवादी पार्टी की पूर्व प्रत्याशी पूजा शुक्ला एक ब्राह्मण नेता के रुप में उभर कर आयी हैं। सपा प्रत्याशी रविदास मेहरोत्रा के लिए पूजा ने प्रचार किया तो उन्हें वैसी सफतला मिलती नहीं दिख रही, जैसी उनके चुनाव में दिखी थी। ब्राह्मण मतदाताओं में चर्चा है कि पूजा तो ब्राह्मण घर की बेटी थी, उसके लिए ब्राह्मण समाज ने अपनी भूमिका निभायी थी। किसी पार्टी या दल से कौन लड़ रहा है, इससे बहुत लेना देना नहीं।
वहीं भाजपा की महानगर टीम में ब्राह्मण चेहरे के रुप में पूर्व उपमुख्यमंत्री डा.दिनेश शर्मा, महानगर अध्यक्ष आनन्द द्विवेदी, एमएलसी मुकेश शर्मा, महानगर नेता पुष्कर शुक्ला भी भाजपा प्रत्याशी राजनाथ सिंह के प्रचार में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। महानगर में इन सभी नेताओं की भाजपा संगठन और समाज के बीच अच्छी पकड़ रही है।
लखनऊ लोकसभा क्षेत्र में चार विधानसभाओं में ब्राह्मण मतदाताओं की संख्या पर्याप्त है। इसमें लखनऊ कैण्ट क्षेत्र में सर्वाधिक एक लाख 40 हजार ब्राह्मण मतदाता है। लखनऊ पश्चिम विधानसभा में 52 हजार ब्राह्मण मतदाता, लखनऊ मध्य विधानसभा में 45 ब्राह्मण मतदाता और लखनऊ उत्तर में 80 हजार ब्राह्मण मतदाता हैं। इसी तरह लखनऊ पूर्व विधानसभा में भी 30 से 40 हजार ब्राह्मण मतदाता हैं।
हिन्दुस्थान समाचार/ शरद/मोहित
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