सुआव नदी का होगा पुनरुद्धार, सौंदर्यीकरण को लेकर डीएम ने दिया निर्देश
बलरामपुर,11 मार्च(हि.स.)। जनपद से होकर निकली 120 किलोमीटर लंबी सुआव नदी के पुनरुद्धार एवं सौंदर्यीकरण होगा। जिसको लेकर बेहतर कार्ययोजना तैयार किए जाने का निर्देश डीएम ने अधिकारियों को दिया है।
जिलाधिकारी कार्यालय पर जिलाधिकारी अरविंद सिंह की अध्यक्षता में जिला गंगा समिति की बैठक की गई। जिसमें सुआव नदी का एक्शन प्लान तैयार किए जाने पर विस्तृत चर्चा की गई।
बैठक में डीएम ने कहा की गंदे नालों का पानी सुआव नदी में ना मिले, इसके लिए नगर पालिका द्वारा अतिशीघ्र फिकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट हेतु भूमि चिन्हित कर ली जाए। उन्होंने अधिशासी अधिकारी नगर पालिका,एसडीएम एवं तहसीलदार को प्राथमिकता के साथ एफएसटीपी हेतु भूमि का चिन्हांकन किए जाने का निर्देश दिया।
उन्होंने कहा कि नगर पालिका द्वारा सर्वे करते हुए सुआव नदी के तट पर पार्क व रमणीय स्थल विकसित किए जाने,फसाड लाइटिंग आदि लगाए जाने की कार्ययोजना बनाई जाए। वन विभाग द्वारा सुबह नदी के तट पर वृहद पैमाने पर वृक्षारोपण किए जाने की कार्ययोजना तैयार कर ली जाए।
जिलाधिकारी श्रीसिंह ने कहा की सुआव नदी की मेनस्ट्रीम धारा में डिसिल्टिंग के लिए सिंचाई विभाग एक सप्ताह के भीतर कार्ययोजना बनाएं। इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाए।
सुआव नदी में पूरे वर्ष जलधारा बहती रहे, इसके लिए डीएम द्वारा नवीन पहल की गई। उन्होंने कहा कि सुआव नदी को बड़े तालाबों के साथ जोड़े जाने की कार्ययोजना बनाई जाए, बाढ़ जैसी आपदा एवं भारी बारिश के दौरान सुआव नदी के माध्यम से तालाबों में पानी जाएगा तथा रेगुलेटर के माध्यम से गर्मी के दौरान इन तालाबों से पुनः नदी में जल प्रवाहित होता, जिससे कि वर्ष भर नदी में पानी रहेगा। तालाबों में जाने वाले जल का प्रयोग सिंचाई में वृहद पैमाने पर प्रयोग किया जा सकेगा तथा भूमिगत जल भी ऊपर आएगा।
बैठक में सुआव नदी के निर्धारित फ्लड प्लेन जोन में स्थित नदी के दोनों तरफ नगरीय क्षेत्र में नदी बैंक से 50-50 मी एवं ग्रामीण क्षेत्र में 100-100 मीटर में किसानों के नाम दर्ज भूमि में सभी गाटों का परीक्षण एवं उसकी आख्या उपलब्ध कराए जाने,लोक निर्माण विभाग द्वारा सुआव नदी के किनारे पुल पुलिया के निर्माण हेतु सर्वे कर आगणन के साथ कार्य योजना उपलब्ध कराए जाने हेतु विस्तृत चर्चा की गई।
सुआव नदी के पुनरुद्धार से जनपद के कई क्षेत्रों को बाढ़ जैसी आपदा से निजात मिलेगी। सुआव नदी को बड़े तालाबों के साथ जोड़ा जाएगा, जिससे कि भूमिगत जल स्तर ऊपर उठेगा एवं वृहद पैमाने पर सिंचाई में भी उपयोग किया जा सकेगा।
मौके पर अपर जिलाधिकारी न्यायिक प्रमोद कुमार,डीएफओ एम सेम्मारन व अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
हिन्दुस्थान समाचार/प्रभाकर/राजेश
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