नवाचार से आयुर्वेद वैश्विक स्वास्थ्य में अवदान : डॉ जीएस तोमर 

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नवाचार से आयुर्वेद वैश्विक स्वास्थ्य में अवदान : डॉ जीएस तोमर 


प्रयागराज, 26 अक्टूबर (हि.स.)। विश्व आयुर्वेद मिशन एवं आरोग्य भारती के संयुक्त तत्वावधान में झंडु इमामी समूह के सौजन्य से नवम आयुर्वेद दिवस समारोह का आयोजन किया गया। विश्व आयुर्वेद मिशन के अध्यक्ष एवं आरोग्य भारती के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य डॉ जीएस तोमर ने कहा कि भगवान धन्वंतरि आरोग्य देवता के रूप में प्रतिष्ठापित हैं।

आयुष मंत्रालय भारत सरकार के निर्देशानुसार इस वर्ष के नवम राष्ट्रीय आयुर्वेद दिवस का थीम “वैश्विक स्वास्थ्य के लिए आयुर्वेद नवाचार” निर्धारित किया गया है। कोरोना में मिली अभूतपूर्व लोकप्रियता के दृष्टिगत आयुर्वेद आज भारत की चहारदीवारी से निकल कर वैश्विक आकर्षण का केंद्र बन गया है। यही कारण है कि हमें अपनी विधा को नवाचार के माध्यम से वैश्विक आकांक्षाओं के अनुरूप प्रस्तुत करना होगा। रोगों एवं मानसिक स्वास्थ्य जैसे क्षेत्रों में आयुर्वेद का महत्वपूर्ण योगदान है। अतः हमें आहार, जीवनशैली, उद्यमिता, स्कूल स्वास्थ्य, कार्यस्थल पर स्वास्थ्य जैसे क्षेत्रों के लिए नवाचार स्थापित करने होगें। जिससे आयुर्वेद वैश्विक आकांक्षाओं पर खरा उतर सके।

समारोह में केन्द्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय गंगा नाथ झा परिसर के निदेशक डॉ ललित कुमार त्रिपाठी ने समुद्र मंथन से अमृतघट एवं औषधि लिए प्रकट हुए भगवान धन्वंतरि को विष्णु अवतार बताया। कहा कि वेदों से उद्भूत आयुर्वेद एक शाश्वत एवं प्राचीनतम विधा है। इससे न केवल स्वास्थ्य संरक्षण होता है अपितु जीर्ण एवं असाध्य रोगों के लिए यह संजीवनी है।

मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आशू पाण्डेय ने धन्वंतरि को स्वास्थ्य का देवता बताया तथा आयुर्वेद को अनेक गम्भीर रोगों में प्रभावी एवं निरापद बताया। एडीएम माघ मेला विवेक चतुर्वेदी ने आयुर्वेद की उपादेयता के दृष्टिगत आगामी महाकुम्भ में उसकी महती भूमिका को रेखांकित किया। उन्होंने आयुर्वेद में नवाचार की आवश्यकता एवं साक्ष्य आधारित व्यवस्था को आवश्यक बताया। डॉ राज किशोर अग्रवाल ने कहा कि सभी विधाओं की अपनी अपनी विशेषताएं एवं मर्यादाएं होती हैं। अतः हमें सभी विधा के चिकित्सकों का परस्पर सम्मान करना चाहिए। आरोग्य भारती के काशी प्रांत उपाध्यक्ष नागेन्द्र जायसवाल ने कहा कि 2002 में धन्वंतरि जयन्ती के दिन ही कोची में आरोग्य भारती की स्थापना हुई तब से अब तक अपने विविध प्रकल्पों द्वारा यह काश्मीर से कन्याकुमारी तक स्वास्थ्य संरक्षण की दिशा में निरन्तर कार्यरत है।

डॉ शांति चौधरी ने महिला स्वास्थ्य एवं गर्भ संस्कार के क्षेत्र में आरोग्य भारती के प्रयासों की सराहना की। आरोग्य भारती काशी प्रांत के संगठन सचिव डॉ अजय मिश्रा ने आरोग्य भारती के विविध प्रकल्पों की जानकारी दी। कार्यक्रम में डॉ वी एन त्रिपाठी एवं क्षेत्रीय आयुर्वेद एवं यूनानी अधिकारी डॉ मनोज कुमार सिंह, डॉ प्रकाश खेतान, डॉ आर के सिंह, डॉ आशीष त्रिपाठी, डॉ भरत नायक, डॉ एम डी दुबे, डॉ विष्णु बली मिश्रा, डॉ अनीता सिंह, डॉ राजेंद्र श्रीवास्तव, डॉ आशीष मौर्य, अनिल मारवाह, राजेन्द्र सिंह, अनुराग अष्ठाना सहित प्रयागराज एवं प्रतापगढ़ के लगभग 70 चिकित्सकों ने प्रतिभाग किया। अंत में झंडु ग्रुप के डीजीएम मनीष श्रीवास्तव ने धन्यवाद ज्ञापन किया। इस अवसर पर झंडु ग्रुप के अखिलेश मिश्रा एवं मनीष त्रिपाठी ने सहयोग प्रदान किया।

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हिन्दुस्थान समाचार / विद्याकांत मिश्र

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