ऐतिहासिक हिलजात्रा हमारी आस्था, विश्वास और समृद्ध परंपराओं का प्रतीक : मुख्यमंत्री

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ऐतिहासिक हिलजात्रा हमारी आस्था, विश्वास और समृद्ध परंपराओं का प्रतीक : मुख्यमंत्री


ऐतिहासिक हिलजात्रा हमारी आस्था, विश्वास और समृद्ध परंपराओं का प्रतीक : मुख्यमंत्री


-मुख्यमंत्री ने युवापीढ़ी से किया का आह्वान, अपनी संस्कृति और परम्पराओं को आगे बढाएं

-मोस्ट मानु मंदिर के सौन्दर्यीकरण के लिये 98 लाख स्वीकृत

देहरादून, 04 सितंबर (हि.स.)। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि सोरघाटी की ये ऐतिहासिक हिलजात्रा हमारी आस्था, विश्वास और समृद्ध परंपराओं का प्रतीक है। यह यात्रा केवल एक धार्मिक या पारंपरिक आयोजन ही नहीं बल्कि हमारे सामाजिक और सांस्कृतिक और आर्थिक जीवन का एक अभिन्न हिस्सा है। पांच सौ वर्षों से भी अधिक समय से मनाए जा रहे इस पर्व ने पिथौरागढ़ को एक विशिष्ट पहचान दी है।

बुधवार को मुख्यमंत्री आवास से मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने वर्चुअली पिथौरागढ़ में आयोजित हिलजात्रा महोत्सव को संबोधित करते हुए यह बातें कही। मुख्यमंत्री ने कहा कि निर्धारित प्रशासनिक व्यस्तताओं के चलते वे व्यक्तिगत रूप से इस आयोजन में शामिल नहीं हो पाये लेकिन उन्हें इस बात का संतोष भी है कि तकनीक के माध्यम से आप सभी के साथ वर्चुअल रूप से जुड़कर वे इस अद्भुद उत्सव का साक्षी बन पा रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने सभी को हिलजात्रा पर्व की शुभकामनाएं देते हुए कामना की कि जिस प्रकार हर घर में मां गौरा और भगवान महेश्वर की पारंपरिक पूजा के साथ सातू-आठू पर्व से हिलजात्रा की धारा प्रवाहित होती है उसी प्रकार सबके जीवन में भी सुख,समृद्धि और शांति की धारा निरंतर प्रवाहित होती रहे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हिलजात्रा न केवल हमारे पूर्वजों की महान परंपराओं, आदर्शों और बहादुरी का स्मरण कराती है बल्कि कृषि और पशुपालन से जुड़े हमारे ग्रामीण जीवन की विशेषताओं को भी दर्शाती है। हिलजात्रा की यह परंपरा हमें हमारी मिट्टी, खेतों, सांस्कृतिक मूल्यों से जोड़ने का अनूठा माध्यम है, जो पीढ़ी दर पीढ़ी चली आ रही है।

उन्होंने कहा कि 500 वर्षों से भी अधिक समय से मनाए जा रहे इस पर्व ने पिथौरागढ़ को एक विशिष्ट पहचान दी है और भगवान शिव के गण लखिया भूत के आगमन ने हमें सदैव सुख, समृद्धि और खुशहाली का आशीर्वाद प्रदान किया है। इस पर्व के माध्यम से हम अपनी जड़ों से जुड़े रहते हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में हमारी धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहरों के संरक्षण और संवर्धन की दिशा में उल्लेखनीय कार्य हो रहा है। प्रधानमंत्री ने स्वयं पिथौरागढ क्षेत्र की यात्रा कर आदि कैलाश यात्रा को भी विश्व भर में प्रसिद्धि दिलाने का कार्य किया है। इसके लिए पारंपरिक और पौराणिक मेलों के मूल स्वरूप को यथावत रखने के लिए हर वर्ष आर्थिक सहायता भी प्रदान की जा रही है।

उन्होंने कहा कि उन्होंने युवा पीढ़ी से आग्रह किया कि वे अपनी संस्कृति और परंपराओं का सम्मान करें और उन्हें आगे बढ़ाने में अपना योगदान दें।

हिलजात्रा महोत्सव के आयोजन के लिए पांच लाख की घोषणा:

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने हिलजात्रा महोत्सव के आयोजन के लिए पांच लाख रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान करने, मोस्टामानू मंदिर के सौन्दर्गीकरण के लिए 98 लाख रुपये स्वीकृत करने, चौतोल मेला परिसर, श्री गोलज्यू मंदिर के सौन्दर्गीकरण हेतु धनराशि की स्वीकृति प्रदान करने तथा कुमौड़ में हिलजात्रा मेला स्थल के सौन्दर्याकरण का कार्य कराने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारीे पिथौरागढ़ को जीजीआईसी के समीप निर्माण की जाने वाली पार्किंग का ‘‘स्ट्रक्चरल सेफ्टी’’ का जल्द से जल्द अपने स्तर पर परीक्षण करने के निर्देश दिये।

इस महोत्सव में विधायक डीडीहाट बिशन सिंह चुफाल, विधायक पिथौरागढ मयूख सिंह मेहर, जिला पंचायत अध्यक्ष दीपिका बोरा, राज्य स्तरीय लघु सिंचाई सलाहकार समिति के उपाध्यक्ष गणेश भण्डारी,पूर्व विधायक चन्द्रा पंत,भाजपा जिलाध्यक्ष पिथौरागढ गिरीश जोशी, निवर्तमान अध्यक्ष नगर पालिका पिथौरागढ राजेन्द्र सिंह रावत,शिव सिंह विष्ट सहित बडी संख्या में क्षेत्रवासी उपस्थित रहे।

हिन्दुस्थान समाचार / राजेश कुमार

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