उपनल कर्मी लगातार अत्याचार का शिकार हो रहे हैं : हरीश रावत
-उपनल कर्मियों के समर्थन में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने रखा मौन व्रत
देहरादून, 16 फरवरी (हि.स.)। उपनल कर्मियों के प्रदर्शन को लेकर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने प्रदेश सरकार को जमकर घेरा। उन्होंने कहा कि निरंतर उपनल कर्मी अत्याचार के शिकार हो रहे हैं। मनमाने तौर पर उनको हटा दिया जाता है। भविष्य के लिए कोई योजनागत सुरक्षा नहीं है।
हरिश रावत ने देहरादून में शुक्रवार को प्रदर्शन कर रहे उपनल कर्मियों के समर्थन में एक घंटे का मौन व्रत रखा। इसके बाद वह उपनल कर्मियों के बीच पहुंचे और कहा कि उपनल कर्मियों की अनसुनी उनकी व्यथा की पराकाष्ठा है। वे जहां काम कर रहे हैं वहां काम करते रहेंगे, इसकी कोई गारंटी नहीं है। उन्हें मनमाने तौर पर हटा दिया जाता है। उनका मानदेय भी नाममात्र का और काम का बोझ सर्वाधिक है। कई लोग ऐसे हैं जिन्होंने अपनी सरकारी सेवा अवधि का एक तिहाई हिस्सा इसी अनिश्चितता में काट दिया है। यह पूरे राज्य के लिए चुनौती है। सरकार को उपनल कर्मियों की मांगों का समाधान निकालना होगा। इसके लिए दो रास्ते भी हैं।
रावत ने कहा कि पहला जो हाई कोर्ट ने दिखाया है और दूसरा 2016 में तत्कालीन सरकार ने प्रस्तावित किया है। आशा है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी स्वयं उपनल कर्मियों की भावना की गहराई का संज्ञान लेंगे।
हिन्दुस्थान समाचार/कमलेश्वर/वीरेन्द्र
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