पिछवाई कला शैली में सुनील दत्त रंगा को मिला स्वर्ण पदक
बीकानेर, 22 अगस्त (हि.स.)। मणिकर्णिका आर्ट गैलरी की तरफ से आयोजित 32 वी ऑनलाइन आर्ट एग्जीबिशन एन्ड कॉम्पिटिशन में बीकानेर के सुनिल दत्त रंगा को स्वर्ण पदक मिला। कला गैलेरी के कॉर्डिनेटर सहजेन्द्र सिंह ने बताया कि यह कॉम्पिटिशन 10 अगस्त से 20 अगस्त तक अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर आयोजित हुई। इस प्रदर्शनी में देश विदेश के 71 कलाकारों ने भाग लिया, जिसमें 15 विदेशी कलाकारों और 56 भारतीय कलाकारों ने भाग लिया। जिसमें राजस्थान से कलाकार एवं व्याख्याता सुनिल दत्त रंगा की पिछवाई कला पर बनाई कलाकृति को स्वर्ण पदक मिला। इस कलाकृति का शीर्षक श्रीनाथ जी है जो पवित्रा (पुत्रदा) एकादशी श्रृंगार पर आधारित पिछवाई कला शैली में बनाई गई है।
सुनिल दत्त रंगा वर्तमान राजकीय उच्च अध्ययन शिक्षा संस्थान (राजकीय बी.एड. कॉलेज) बीकानेर, राजस्थान में दृश्य कला व्याख्याता पद पर कार्यरत है तथा कला के कई आयोजन करते रहते है।
इस प्रदर्शनी में राजस्थान के 2 अन्य कलाकार राम कुमार भादानी ओर सुरेंद्र सुथार के कलाकार्य भी प्रदर्शित किये गए। राम कुमार भादाणी द्वारा सुनहरी कलम से बनाये गये थ्रीड़ी श्री नाथ जी श्रृंगार के स्वरूप को प्रदर्षित किया गया, जिन्हे काफ़ी सराहा गया। बीकानेर के दोनों कलाकारों को वरिष्ठ चित्रकारों द्वारा बधाईया दी गई।
मणिकर्णिका आर्ट गैलरी की निदेशक प्रसिद्ध अंतर्राष्ट्रीय कलाकार कामिनी बघेल ने बताया कि मणिकर्णिका आर्ट गैलरी रानी लक्ष्मी बाई की भूमि पर झाँसी (यूपी) में स्थित है, यह आर्ट गैलरी कई वर्षों से समकालीन कला क्षेत्र में काम कर रही है। कोरोना काल में गैलरी ने ऑनलाइन प्रदर्शनियां शुरू की। अभी तक मणिकर्णिका आर्ट गैलरी ने ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरह से लगभग 400 प्रदर्शनियाँ की हैं जो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर देखी जा सकती हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / राजीव / ईश्वर
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