एम्स में रात भर बैठे रहे परिजन : सऊदी अरब से आए शव को एम्स की मोर्चरी में रखने से इनकार

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एम्स में रात भर बैठे रहे परिजन : सऊदी अरब से आए शव को एम्स की मोर्चरी में रखने से इनकार


जोधपुर, 19 दिसम्बर (हि.स.)। बालोतरा जिले के गिड़ा निवासी रमेश कुमार मेघवाल की सऊदी अरब में मौत होने के बाद गुरुवार को उनका शव भारत लाया गया। रमेश के परिजन उसका जोधपुर एम्स में पोस्टमार्टम करवाना चाहते थे, इसलिए शव को जोधपुर एम्स ले आए। यहां पहुंचने पर जोधपुर एम्स प्रशासन ने शव रखने और पोस्टमार्टम करने से इनकार कर दिया।

रमेश के भाई गैनाराम के मुताबिक वह गुरुवार पूरी रात जोधपुर एम्स हॉस्पिटल में अपने छोटे भाई रमेश कुमार मेघवाल की डेडबॉडी को लेकर बैठा रहा और एम्स प्रशासन से अपने छोटे भाई के शव को मोर्चरी में रखने की गुहार लगाता रहा लेकिन एम्स प्रशासन का दिल नहीं पसीजा। उन्होंने बताया कि पहले एम्स प्रशासन ने परिजनों से पुलिस की ओर से डेडबॉडी को मोर्चरी में रखने के लिये संबंधित थानाधिकारी का एम्स के नाम पत्र मंगवाने को कहा। जब गिड़ा थानाधिकारी का पत्र भी एम्स प्रशासन को भेज दिया गया उसके बाद भी जोधपुर एम्स प्रशासन ने डेडबॉडी मोर्चरी में रखने से मना कर दिया।

एम्स संस्थान पुलिस चौकी पर रात्रि को तैनात ने कांस्टेबल ने भी एम्स प्रशासन को गिड़ा थानाधिकारी की ओर से शव मोर्चरी में रखने के लिए एम्स प्रशासन के नाम लिखा पत्र दिखाते हुए कहा कि आपको डेड बॉडी को मोर्चरी में रखना चाहिये। इसके बाद कमिश्नेरट मुख्यालय एडीसीपी सुनील कुमार पंवार और बासनी थानाधिकारी एम्स संस्थान पहुंचे और ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर्स को मोर्चरी में बॉडी रखवाने को कहा लेकिन एम्स के डॉक्टर ने तर्क दिया कि यह भारत सरकार का संस्थान है और पीडि़त राज्य सरकार के अधीन शहर के किसी दूसरे अस्पताल या संबंधित जगह पर शव ले जाकर पोस्टर्माटम करवा सकते हैं। इसके बाद रमेश के परिजन शुक्रवार सुबह बॉडी को एम्बुलेंस में लेकर पोस्टमार्टम के लिए बालोतरा रवाना हुए।

वहीं एम्स के प्रवक्ता डॉ. जीवनराम ने कहा कि संस्थान में इलाज के दौरान किसी व्यक्ति की मौत हो जाती है तो उसकी ही बॉडी यहां मोर्चरी में रखी जाती है। दूसरी जगह से आई बॉडी को यहां मोर्चरी में नहीं रखते हैं।

हिन्दुस्थान समाचार / सतीश

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