सूरतगढ़ विधानसभा में चकबंदी के लिए गांवों के सर्वे- रिसर्वे का काम एक साल में पूरा करेंगे - राजस्व मंत्री

सूरतगढ़ विधानसभा में चकबंदी के लिए गांवों के सर्वे- रिसर्वे का काम एक साल में पूरा करेंगे - राजस्व मंत्री
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सूरतगढ़ विधानसभा में चकबंदी के लिए गांवों के सर्वे- रिसर्वे का काम एक साल में पूरा करेंगे - राजस्व मंत्री


जयपुर, 29 जनवरी (हि.स.)। राजस्व मंत्री हेमन्त मीणा ने सोमवार को विधानसभा में कहा कि राज्य सरकार द्वारा वर्तमान में सूरतगढ विधानसभा क्षेत्र के पीपासर, हिन्दौर, राजपुरा, पिपेरन गांवों में वैपकोस कंपनी द्वारा सर्वे रिसर्वे का कार्य करवाया जा रहा है तथा यह कार्य साल भर में पूरा कर लिया जाएगा, उसके उपरान्त ही वहां चकबंदी का कार्य करवाया जाना संभव है।

राजस्व मंत्री प्रश्नकाल के दौरान सदस्यों द्वारा इस संबंध में पूछे गए पूरक प्रश्नों का जवाब दे रहे थे। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र के ग्राम रंगमहल, किशनपुरा व पदमपुरा परियोजना क्षेत्र में नहीं होने से वहां चकबन्दी प्रस्तावित नहीं है। उन्होंने बताया कि ग्राम ठुकराना से नवसृजित चक आरडीएल-ए व आरडीएल-बी तथा ग्राम मालेर में 2 नवसृजित चक 11 पीएचएम व 1 एमआरएम तैयार हो गये हैं और 7 चकों का कार्य प्रक्रियाधीन है।

इससे पहले विधायक डूंगरराम के मूल प्रश्न के लिखित जवाब में मीणा ने बताया कि विधानसभा क्षेत्र सूरतगढ में परियोजना क्षेत्र एवं राजस्व क्षेत्र में टी.सी. भूमि व पुख्ता आवंटित भूमि के संबंध में गैर खातेदारी के कुल 5 हजार 208 प्रकरणों में से 4 हजार 151 प्रकरणों में खातेदारी दी जा चुकी है। उन्होंने बताया कि शेष 1 हजार 57 प्रकरण विभिन्न कारणों से लम्बित हैं। उन्होंने इसका विवरण सदन के पटल पर रखा।

मीणा ने बताया कि गैर खातेदारी से खातेदारी देने के संबंध में पैराफेरी क्षेत्र, उपनिवेशन क्षेत्र व राजस्व क्षेत्र संबंधी कतिपय जटिलताओं के कारण विभाग स्तर पर समीक्षा की जाकर गाइडलाइन जारी किया जाना प्रस्तावित है, ताकि लम्बित प्रकरणों का भी नियमानुसार निस्तारण किया जा सके।

राजस्व मंत्री ने बताया कि तहसील सूरतगढ क्षेत्र के गांव पीपासर, हिन्दौर, राजपुरा, पिपेरन में जारी सर्वे रिसर्वे का कार्य पूर्ण होने के उपरान्त ही चकबन्दी का कार्य किया जाना संभव है। उन्होंने बताया कि ग्राम रंगमहल, किशनपुरा व पदमपुरा में परियोजना क्षेत्र नहीं होने से चकबन्दी प्रस्तावित नहीं है। ग्राम ठुकराना से नवसृजित चक 191.500 आरडीएल-ए व 191.500 आरडीएल-बी तैयार हो गये हैं। उन्होंने बताया कि ग्राम मालेर में 2 नवसृजित चक 11 पीएचएम व 1 एमआरएम तैयार हो गये हैं और 7 चकों का कार्य प्रक्रियाधीन है।

हिन्दुस्थान समाचार/ ईश्वर/संदीप

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