संविधान भारतीय संस्कृति का अनुपम उपहार: डॉ. गहलोत

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संविधान भारतीय संस्कृति का अनुपम उपहार: डॉ. गहलोत


जोधपुर, 26 सितम्बर (हि.स.)। जयनारायण व्यास विश्वविद्यालय के महिला अध्ययन केन्द्र द्वारा भारतीय संस्कृति में नारी चेतना एवं संविधान पर व्याख्यान का आयोजन किया गया। व्याख्यान में मुख्य वक्ता अंबेडकर अध्ययन केंद्र के निदेशक डॉ. दिनेश गहलोत थे।

डॉ. गहलोत ने भारतीय संस्कृति में नारी चेतना का उल्लेख करते हुए नई शिक्षा नीति में भारतीय ज्ञान परम्परा को रेखांकित किया। उनके अनुसार महिला सशक्तिकरण के संदर्भ में भारतीय संविधान एक उत्तम दस्तावेज है। उन्होंने संविधान निर्माण में महिलाओं के योगदान को रेखांकित करते हुए उन्हें संविधान निर्मात्री की संज्ञा दी। कार्यक्रम की शुरुआत में केन्द्र की निदेशक डॉ. विजयश्री ने कार्यक्रम की रूपरेखा पर प्रकाश डालते हुए औपचारिक स्वागत किया। उन्होंने केंद्र द्वारा चलाई जा रही गतिविधियों और डिप्लोमा तथा प्रमाण पत्र कोर्स की उपयोगिता को रेखांकित किया। उनके अनुसार यह कोर्सेज़ बच्चों के कैरियर हेतु भी उपयोगी है। कार्यक्रम में राजनीति विज्ञान के विभागाध्यक्ष प्रो रामसिंह आढ़ा, डॉ नागेन्द्र सिंह भाटी और डॉ सरोज सिरवी भी उपस्थित थे।

हिन्दुस्थान समाचार / सतीश

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