गलती छिपाने के लिए लाखों बच्चों की आशाओं को खत्म कर रही है सरकार- गहलोत
जयपुर, 5 जुलाई (हि.स.)। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने केन्द्र सरकार से राष्ट्रीय पात्रता व प्रवेश परीक्षा (नीट) परीक्षा रद्द कर दोबारा परीक्षा करवाने की अपील की है। गहलोत ने आरोप लगाया कि सरकार अपनी गलती छिपाने के लिए लाखों बच्चों की आशाओं को हमेशा के लिए खत्म कर रही है।
उन्होंने शुक्रवार को सोशल मीडिया पर नीट मुद्दे पर केन्द्र सरकार और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधते हुए पोस्ट किया कि प्रधानमंत्री मोदी एवं उनकी सरकार पिछले दस साल से हर जरूरी मुद्दे पर मौन साधकर उस मुद्दे के पब्लिक मेमोरी से गायब होने का इंतजार करती है। ऐसा ही ये अब नीट परीक्षा के मुद्दे पर कर रहे हैं। जब जांच एजेंसियों ने मान लिया कि पेपर लीक हुआ है, एनटीए में अनियमितताएं हुईं हैं तो पहली परीक्षा रद्द कर दोबारा परीक्षा करवाने में क्यों देरी की जा रही है? मीडिया में भी इस मुद्दे को दबा सा दिया है।
गहलोत ने कहा, कांग्रेस सरकार के दौरान 26 लाख अभ्यर्थियों वाली रीट परीक्षा में अनियमितता सामने आने पर हमने पेपर रद्द कर दोबारा पेपर करवाया एवं 50,000 बच्चों को नौकरी दी। अपनी गलती मानकर उसमें सुधार करना लोकतंत्र की खासियत है। क्या केन्द्र सरकार नीट परीक्षा के मामले में मेहनती विद्यार्थियों का हक मारना चाहती है एवं अपनी गलती छिपाने के लिए लाखों बच्चों की आशाओं को हमेशा के लिए खत्म कर रही है।
हिन्दुस्थान समाचार/संदीप/ईश्वर
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