इंटरनेशनल डिजाइन सिम्पोजियम में डिजाइन रिसर्च एवं पब्लिकेशन की चुनौतियों पर मंथन
जोधपुर, 3 नवंबर (हि.स.)। राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान जोधपुर की ओर से लिवरेजिंग क्रिएटिविटी फॉर इनोवेशन : रोल आफ डिजाइन रिसर्च विषय पर दो दिवसीय इंटरनेशनल डिजाइन सिम्पोजियम का शुक्रवार को समापन हुआ। इस दौरान विशेषज्ञों ने डिजाइन रिसर्च के बारे में फैकल्टी मेंबर्स एवं स्टूडेन्ट्स के सवालों के जवाब दिये।
संस्थान के निदेशक प्रो.जीएचएस प्रसाद ने कहा कि डिजाइन रिसर्च में काम करने की अपार संभावनाएं है, आज का युग डिजाइन का युग है, हमें समस्याओं का मानव केन्द्रित समाधान ढूंढने की जरूरत है। कार्यक्रम के प्रथम सत्र में आईआईटी मुंबई में एडजंट प्रोफेसर दिनेश कोरजन ने डिजाइन की पेडागोजी पर अपने विचार रखें। इसके बाद प्रोफेसर एस बलराम ने प्रैक्टिस लेड डिजाइन रिसर्च विषय पर वर्कशॉप का आयोजन किया। दूसरे सत्र में डिजाइन में पब्लिकेशन चैलेंजेज विषय पर आईआईटी मुंबई के प्रोफेसर अनिरूद्ध जोशी ने विस्तार से चर्चा की। इसके बाद डिजाइन रिसर्च के भविष्य पर पैनल डिस्कशन का आयोजन किया गया। समापन सत्र में नीदरलैंड के डेल्फ़्ट यूनिवर्सिटी ऑफ़ टेक्नोलॉजी की प्रोफेसर होली ने प्रैक्टिस आधारित शोध पर विचार रखते हुए कहा कि अकादमिक लोगों को और युवाओं को रिसर्च पर जोर देना होगा तब ही शिक्षा बेहतर हो सकेगी। इस दौरान संयुक्त निदेशक प्रोफेसर हर्लीन साहनी, डॉ अदिति मेडतिया, डॉ शिखा गुप्ता सहित सभी फैकल्टी मेंबर्स एवं स्टूडेन्ट्स मौजूद रहें।
हिन्दुस्थान समाचार/राजीव/संदीप
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