काले हिरण का शव रखकर धरने पर बैठा बिश्नोई समाज, सड़क जाम की

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काले हिरण का शव रखकर धरने पर बैठा बिश्नोई समाज, सड़क जाम की


श्रीगंगानगर, 19 अगस्त (हि.स.)। जिले के सूरतगढ़ वन क्षेत्र में रिड़मलसर-भगवानगढ़ रोड पर बिश्नोई समाज पिछले 24 घंटे से काले हिरण की हत्या के मामले को लेकर धरने पर है और सड़क जाम कर बैठा है। आरोप है कि वन विभाग की लापरवाही के चलते शिकारी खुले आम शिकार कर रहे हैं। समाज की मांग है कि श्रीगंगानगर डीएफओ दिलीप राठौड़ और सूरतगढ़ रेंजर वेदप्रकाश को हटाया जाए।

सूरतगढ़ कस्बे के गांव 64 एलएनपी के रहने वाले किसान बजरंग पूनिया रविवार सुबह छह बजे अपने जब खेत जा रहे थे। इसी दौरान उन्हें झाड़ियों के पास घायल पड़ा एक काला हिरण नजर आया। उन्होंने इलाके के वन्य-जीव प्रेमियों को इसकी सूचना दी। इस पर वन्य जीव प्रेमी इलाज के लिए हिरण को रिड़मलसर वन्य जीव रक्षा चौकी में लेकर पहुंचे। लेकिन, हिरण ने रास्ते में ही दम तोड़ दिया। सूचना मिलते ही रायसिंहगर रेंजर जगदेव शर्मा टीम के साथ मौके पर पहुंचे। जहां उन्होंने हिरण का पोस्टमार्टम करने के लिए कहा तो वन्यजीव प्रेमियों ने मना कर दिया। सुबह 11 बजे वन्यजीव प्रेमी हिरण के शव को 9 डीबीएन के रोही क्षेत्र पर लाकर धरने पर बैठ गए।

मामले को लेकर डीएफओ दिलीप सिंह राठौड़ ने कहा कि हिरण की हत्या के मामले में चार संदिग्ध लोगों को डिटेन किया है। जिनसे लगातार पूछताछ की जा रही है। इसके बाद धरने पर बैठे लोगों का कहना है कि प्रशासन लीपापोती कर रहा है। धरना खत्म करने के उद्देश्य से चार लोगों को पकड़ा है। मांगे नहीं मानी गई तो धरना जारी रहेगा। बिश्नोई समाज के नेता अमित कड़वासरा ने कहा कि सूरतगढ़ उपखंड के वन क्षेत्र के चक 9डीबीएन की रोही में शिकारी ने गोली मारकर एक काले हिरण और खरगोश का शिकार कर दिया। प्रशासन वन क्षेत्र में हाे रही अवैध गतिविधियों पर ध्यान नहीं दे रहा है। अब भी विभाग के उच्चाधिकारियों और जिला कलेक्टर को धरने पर बुलाने की मांग की जा रही है, लेकिन प्रशासन इस और ध्यान नहीं दे रहा है। जिन अधिकारियों को सस्पेंड करने की मांग की जा रही है। उन्हीं को वार्ता के लिए भेजा गया है।

रविवार सुबह 10 बजे रायसिंहनगर के रेंजर जगदेव शर्मा ने वन्यजीव प्रेमियों से समझाइश की। शिकारियों को जल्द पकड़ने का आश्वासन दिया, लेकिन आक्रोशित लोगों ने सुबह 11:15 बजे धरना शुरू कर दिया। वहीं उनके समर्थन में आसपास के ग्रामीण भी पहुंच गए। दूसरे दौर की बातचीत करने दोपहर करीब 12 बजे सूरतगढ़ के तहसीलदार हाबूलाल मीणा, डीएसपी प्रतीक मील, और सदर थानाधिकारी कृष्ण कुमार के साथ हुई। इस वार्ता का भी कोई परिणाम नहीं निकला। शाम चार बजे श्रीगंगानगर से पहुंचे एडीएम (विजिलेंस) कैलाश शर्मा के साथ हुई, लेकिन धरनास्थल पर मौजूद वन्यजीवों ने क्लेक्टर को मौके पर बुलाने की शर्त रख दी। इसलिए ये बातचीत भी बेनतीजा रही। चौथे दौर की वार्ता रविवार शाम सात बजे पदमपुर से पहुंचे एसडीएम संदीप काकड़ और एडिशनल एसपी रघुवीर सिंह के नेतृत्व में की गई, मगर वन्यजीव प्रेमियों ने उनसे बात करने से मना कर दिया। रात नाै बजे तक करीब 200 से ज्यादा मौके पर पहुंच गए थे। इसलिए सोमवार को आगे की रणनीति बनाने का आह्वान करते हुए रात को जागरण का आयोजन किया गया। वन्य प्रेमियों ने वहीं पर रात गुजारी गई।

सोमवार दोपहर दाे बजे नाराज वन्य जीव प्रेमियों ने शाम चार बजे तक पुलिस प्रशासन को अल्टीमेटम दे दिया। दोपहर तीन बजे सूरतगढ़ के एडीएम कन्हैयालाल सोनगरा, डीएसपी प्रतीक मील, और सदर थाना अधिकारी कृष्ण कुमार ने पांचवें दौर की चर्चा की, लेकिन इसमें भी सफलता नहीं मिली। धरना अभी भी जारी है।

हिन्दुस्थान समाचार / रोहित / ईश्वर

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