मप्रः मानव अधिकार आयोग में ग्रीष्मकालीन इंटर्नशिप कार्यक्रम का समापन
भोपाल, 28 जून (हि.स.)। मप्र मानव अधिकार आयोग में प्रतिवर्ष संचालित होने वाले ग्रीष्मकालीन एवं शीतकालीन सत्रों में विधि संकाय के विद्यार्थियों के लिये एक माह का इंटर्नशिप कार्यक्रम का शुक्रवार को समापन हुआ। ग्रीष्मकालीन इंटर्नशिप कार्यक्रम 03 जून 2024 से 28 जून 2024 तक की अवधि में देश के प्रतिष्ठित विधि विश्वविद्यालयों एवं महाविद्यालयों में अध्यनरत् विधि संकाय के विद्यार्थियों को मानव अधिकार एवं आयोग की कार्यप्रणाली सहित विभिन्न विधि विषयों पर विभिन्न रिसोर्स पर्सन द्वारा प्रशिक्षण दिलाया गया।
इंटर्नशिप में मुख्य रूप से राष्ट्रीय विधि संस्थान विश्वविद्यालय भोपाल, जागरण लेक सिटी विश्वविद्यालय भोपाल, करियर कॉलेज ऑफ लॉ भोपाल, वनस्थली विद्यापीठ विश्वविद्यालय राजस्थान, ओ.पी. जिंदल ग्लोबल विश्वविद्यालय सोनीपत, हरियाणा, राजीव गांधी नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ लॉ, पंजाब, अजिंक्य डी वाई पाटिल विश्वविद्यालय लोहेगांव पुणे, महाराष्ट्र, राष्ट्रीय विधि संस्थान विश्वविद्यालय नागपुर, धर्मशास्त्र राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय जबलपुर, मंगलायतन यूनिवर्सिटी जबलपुर, देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इंदौर सहित अन्य विश्वविद्यालयों के विद्यार्थीगण ने भाग लिया।
मानव अधिकार आयोग के अध्यक्ष मनोहर ममतानी ने 03 जून 2023 को प्रशिक्षण का विधिवत् शुभारंभ किया था। उन्होंने अपने उद्बोधन में उपस्थित विद्यार्थियों को मार्गदर्शन देते हुये उन्हें पूर्ण लगन से प्रशिक्षण प्राप्त करने के लिये निर्देशित किया। आयोग के सदस्य राजीव कुमार टंडन ने मानव अधिकार संरक्षण अधिनियम, 1993 सहित आयोग में प्राप्त शिकायतों और उनके निराकरण की कार्यप्रणाली से अवगत कराया।
प्रशिक्षण के दौरान पूर्व सदस्य मानव अधिकार आयोग सरबजीत सिंह, ने मानव अधिकारों’’ और ’’जेल अभिरक्षा एवं मानव अधिकारों’’ के संदर्भ में व्याख्यान दिया गया। सचिव, विधि एवं विधायी कार्य विभाग, भरत कुमार व्यास ने भारतीय न्याय संहिता एवं मानव अधिकारों’’ के संदर्भ में प्रशिक्षण दिया गया। विधि एवं विधायी कार्य विभाग, अपर सचिव, भोपाल हर्ष कुमार बेहरावत ने ’’भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता एवं मानव अधिकारों के संदर्भ में जानकारी दी। राष्ट्रीय न्यायिक अकादमी, भोपाल विजय चंद्रा, रजिस्ट्रार, ने ’’बदलती कानूनी दुनिया में मानवाधिकारों का महत्व’’ के सदंर्भ में अपना व्याख्यान दिया गया।
रिसर्च फेलो, राष्ट्रीय न्यायिक अकादमी, भोपाल नीतिका जैन, ने ’’निष्पक्ष परीक्षण एवं निष्पक्ष जांच’’ के संदर्भ में प्रशिक्षण दिया गया। दिनेश कुमार नायक, (सेवानिवृत्त न्यायाधीश) ने पीपीटी प्रेजेंटेशन के माध्यम से ’’मानव अधिकार एंव सामाजिक न्याय’’ के संदर्भ में अपना प्रशिक्षण दिया गया। प्रोफेसर, राष्ट्रीय न्यायिक अकादमी, भोपाल डॉ. हुमायू राशिद खान, ने ’’गिरफ्तारी कानून (अरनेश कुमार केस के संदर्भ में) प्रशिक्षण दिया गया। प्रोफेसर राष्ट्रीय न्यायिक अकादमी, भोपाल डॉ. अमित मल्होत्रा, ने बंदियों के अधिकार - एक चुनौती के संदर्भ में जानकारी दी।
से.नि. स्पेशल डी.जी. अनवेष मंगलम् ने नये कानूनों के संदर्भ में मानव अधिकार’’ के संदर्भ में व्याख्यान दिया गया। से.नि. अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक, मानव अधिकार आयोग बीबी शर्मा, ने माननीय सर्वोच्च न्यायालय के न्याय दृष्टांतों का विश्लेषण जो कि मानव अधिकारों के संरक्षण के संदर्भ में जानकारी दी। निकिता ममतानी, लॉयर, लेखिका, रचनात्मक उद्यमी ने ’’बियॉन्ड द लॉ बुक’’ एवं पर्सनालिटी डेवलपमेंट के संदर्भ में पीपीटी प्रेजेंटेशन के माध्यम से अपना प्रशिक्षण दिया गया। संचालक, लोक अभियोजन मप्र, भोपाल सुषमा सिंह ने ’’ अभियोजन के संदर्भ में मानव अधिकार’’ के संदर्भ में प्रशिक्षण दिया गया। एसोसियट प्रोफेसर, राष्ट्रीय न्यायिक संस्था विश्वविद्यालय, भोपाल डॉ. मनीष यादव, ने ’’बौद्धिक संपदा अधिनियम एवं मानव अधिकार के संदर्भ में पीपीटी प्रेजेंटेशन के माध्यम से प्रशिक्षण दिया गया।
मनोज सिंह, अतुल सक्सेना, ए.के. शर्मा (जिला- न्यायाधीश) द्वारा ’’नए कानूनों (वी.एन.एस/वी.एन.एस.एस) की विस्तृत तुलनात्मक जानकारी दी। प्राध्यापक(लॉ), जागरण लेक सिटी विश्वविद्यालय भोपाल अपूर्वा अग्रवाल, सहायक ने ’’विधिक शोध प्रणाली एवं रिपोट राइटिंग’’ के व्याख्यान दिया गया। पुलिस अधीक्षक, साइबर सेल भोपाल वैभव श्रीवास्तव, ने ’’साइबर अपराध एवं मानव अधिकार के संदर्भ में प्रशिक्षण दिया गया। गुरूचरण सिंह, सीडीटीआई, चंडीगढ़ द्वारा ’’साइबर सिक्यूरिटी’’ के संदर्भ में ऑनलाइन व्याख्यान दिया गया। पीएसओ (डी.जी.) पुलिस मुख्यालय, भोपाल विनीत कपूर, ने अन्तर्राष्ट्रीय मानव अधिकारों के संबंध में जानकारी दी। पूर्व सदस्य म.प्र. राज्य बाल संरक्षण आयोग विभांशु जोशी ने बच्चों के अधिकार-मानव अधिकार’’ के संदर्भ में जानकारी दी।
साथ ही उप पुलिस अधीक्षक, मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग श्री राजेश गुरु, (प्रशिक्षण सत्र समन्वयक) के तौर पर विद्यार्थियों को पुलिस थाना, गोविंदपुरा, भोपाल, केन्द्रीय जेल भोपाल, पुलिस आयुक्त भोपाल, भोपाल डायल-100, एफएसएल एवं साइबर सेल, भोपाल का अध्ययन भ्रमण कराया गया। आयोग के शोध अधिकारी संजय विश्वकर्मा द्वारा विद्यार्थियों को आयोग कार्यालय का भ्रमण कराते हुये उन्हें विभिन्न शाखाओं की कार्यप्रणाली से अवगत कराया गया तथा आयोग में प्राप्त शिकायतों पर होने वाली कार्यवाही का भी अध्ययन कराया गया।
सफलतापूर्वक प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले कुल 39 विद्यार्थियों को आयोग की ओर से शुक्रवार को प्रमाण-पत्र प्रदान किये गये। प्रशिक्षण के अंतिम दिवस आयोग के अध्यक्ष मनोहर ममतानी द्वारा विद्यार्थियों को उज्जवल भविष्य की कामना करते हुये उन्हें प्रशिक्षण प्राप्त करने हेतु बधाई दी गई। विद्यार्थियों द्वारा उनके एक माह के इस प्रशिक्षण सत्र के दौरान दिये गये उन्मुखीकरण के लिये आयोग के अध्यक्ष महोदय, सदस्य महोदय, पुलिस महानिरीक्षक, रजिस्ट्रार लॉ, उप सचिव एवं पुलिस अधीक्षक, उप पुलिस अधीक्षक, शोध अधिकारी सहित सभी वरिष्ठ अधिकारियों एवं आयोग के कर्मचारियों का आभार व्यक्त किया।
समापन सत्र का संचालन करते हुए उप पुलिस अधीक्षक, राजेश गुरु द्वारा सत्र का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत किया गया। तत्पश्चात् प्रशिक्षणार्थी अनुष्का सिंह ने पीपीटी प्रेजेंटेशन के माध्यम से पूरे चार सप्ताह के प्रशिक्षण में प्राप्त जानकारी से अवगत कराया। एक अन्य प्रशिक्षणार्थी सानिया सफिक अहमद द्वारा आयोग की इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम से विद्यार्थियों को प्राप्त नये कानूनों, मानव अधिकारों के सम्बन्ध में प्राप्त जानकारी को प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम के अंत में एक अन्य प्रशिक्षणार्थी वैदेही शर्मा द्वारा आभार-प्रदर्शन किया गया।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश/नेहा
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