श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर प्रदेश के 16 स्थामनों पर हो रहा श्रीकृष्णे पर्व
- जानापाव की धरती पर बरसा बृज का प्रेम
इन्दौर, 26 अगस्त (हि.स.)। संस्कृति विभाग द्वारा श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर भोपाल सहित मध्यप्रदेश के 16 स्थानों में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व का आयोजन किया गया। भगवान श्रीकृष्ण के प्रकटउत्सव के अवसर पर भगवान परशुराम की जन्म स्थली, महू के जानापाव में भक्तिरस की धारा बही। इस मौके पर दमोह के नितिन अग्रवाल और साथी कलाकारों ने अपनी सुमधुर आवाज में भक्ति संगीत की तान छेड़ी तो वृन्दावन से आए मुरालीलाल तिवारी और साथी कलाकारों ने रासलीला के माध्यम से बृज के अलौकिक प्रेम को वर्णन किया।
वृन्दावन से आए 18 कलाकारों के दल ने मुरालीलाल तिवारी के निर्देशन में भगवान श्री कृष्ण की लीलाओं का बखान किया। इस अवसर पर मुरालीलाल तिवारी और साथी कलाकारों द्वारा रासलीला के माध्यम से बृज के अलौकिक प्रेम का वर्णन भी किया गया।
इस अवसर पर वृन्दावन से आए कलाकारों द्वारा जागो वंशीवारे ललना, जागो मोरे प्यारे..., उद्धव मत आइयो समझाने जाको कांटा लगे वोही जाने... आदि सुमधुर अनेक गीतों की प्रस्तुती दी गयी। अंत में जैसे सूरज की गर्मी से जलते हुए तन को... और हे भोला भंडारी सदाशिव हे भोला भंडारी... गीत पेश किए। श्रोताओं को मोहित करने वाले गीतों की प्रस्तुति के बाद कलाकारों द्वारा रासलीला की प्रस्तुती भी दी गयी।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर
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