श्योपुर: ओमवती को मिली ट्राइसिकल, मीरा को मिला संबल योजना का लाभ
- जनसुनवाई में पहुंचे 98 आवेदक
श्योपुर, 12 दिसम्बर (हि.स.)। आमजन की समस्याओं के निराकरण के लिए मंगलवार को साप्ताहिक जनसुनवाई का कार्यक्रम मंगलवार को प्रभारी जिलाधीश अतेन्द्र सिंह गुर्जर की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजन किया गया। इस दौरान कुल 98 आवेदन प्राप्त हुए। इस अवसर पर अनुविभागीय अधिकारी राजस्व मनोज गढ़वाल, उप जिलाधीश संजय जैन, तहसीलदार प्रेमलता पाल सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।
जनसुनवाई में कलारना निवासी दिव्यांग किशोरी ओमवती पुत्री काडू आदिवासी को सामाजिक न्याय विभाग के माध्यम से ट्राइसिकल प्रदान की गई। जनसुनवाई में पहुंची ओमवती द्वारा ट्राइसिकल की मांग की गई थी। इस पर तत्काल कार्रवाई करते हुए ट्राइसिकल प्रदान की गई। ओमवती को दिव्यांग पेंशन का लाभ पूर्व से ही मिल रहा है। जिसके तहत उसे 600 रुपए मासिक राशि प्राप्त हो रही है। इसके अलावा जनसुनवाई में पहुंची बंधाली निवासी मीरा वेबा स्व. पप्पू आदिवासी को पोर्टल पर चेक करने के बाद अवगत कराया गया कि योजना के तहत लाभ के लिए आवेदन ऑनलाइन कर दिया गया है और ईपीओ भी जारी हो चुका है। शीघ्र ही दो लाख की राशि बैंक खाते के माध्यम से दी जाएगी। इसके साथ ही सामाजिक सुरक्षा पेंशन का आवेदन भी अपलोड कर दिया गया है। मायाबाई पत्नी स्व. हनुमान रजक निवासी गांधी नगर श्योपुर के आवेदन पर मुख्य नगर पालिका अधिकारी सतीश मटसेनिया को कल्याणी पेंशन का लाभ दिए जाने के निर्देश दिए।
शिविर लगाकर बनाए जाएं जाति प्रमाण पत्र: विजयपुर के बलावनी गांव से बड़ी संख्या में ग्रामीण जाति प्रमाण पत्र नहीं बनने की समस्या लेकर पहुंचे। उनकी इस समस्या सुनने के बाद प्रभारी जिलाधीश अतेन्द्र सिंह ने पंचायत सचिव को दूरभाष के माध्यम से निर्देश दिए कि गांव स्तर पर शिविर आयोजित कर सहरिया जनजाति समुदाय के लोगों के जाति प्रमाण पत्र बनाए जाएं। जिससे उन्हें खाद्यान्न के लिए पात्रता पर्ची जारी की जा सके। ग्राम बलावनी से आए जनजाति वर्ग के कुछ ग्रामीणों ने खाद्यान्न की पात्रता पर्ची जारी करने के लिए आवेदन दिया।
पेशी लगाकर किया जाएगा जमीन संबंधी शिकायत का निराकरण: तिल्लीढेरा निवासी गजरीबाई के आवेदन पर दूसरे पक्ष को पेशी लगाकर बुलाने के निर्देश प्रभारी जिलाधीश अतेन्द्र सिंह ने दिए। गजरीबाई ने आवेदन प्रस्तुत किया कि ग्राम बगदीया में सर्वे क्रमांक 477 में उसकी स्वामित्व की 1.463 हेक्टयर भूमि स्थित है। जिसका 2015 में भी सीमांकन कराया गया था लेकिन कुछ लोग उसे खेती नहीं करने दे रहे हैं और जमीन पर कब्जा नहीं छोड़ा है।
हिन्दुस्थान समाचार/शरद/मुकेश
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