रतलाम: 'वन स्टेशन-वन प्रोडक्ट' योजना से विक्रेता एवं खरीदार दोनों को लाभ
रतलाम, 6 दिसंबर (हि.स.)। स्थानीय उत्पादों को आम जनता के मध्य प्रचारित करने के लिए वर्ष 2022-23 के सामान्य बजट में घोषित ‘वन स्टेशन-वन प्रोडक्ट’ के पायलेट प्रोजेक्ट को भारतीय रेलवे द्वारा लागू किया गया है। इसके तहत भारतीय रेलवे संबंधित स्टेशन के आस-पास के स्थानीय उत्पादों को प्रमोट करने के लिए 15 दिवसीय पायलट प्रोजेक्ट का प्रथम चरण का शुभारंभ 25 मार्च, 2022को किया गया था। इस पायलट प्रोजेक्ट को और प्रभावशाली बनाने के लिए ‘वन स्टेशन वन प्रोडक्ट’ योजना को विभिन्न फेजों के तहत विस्तार किया जा रहा है जिससे अधिक से अधिक संस्था/संगठन को इसका लाभ मिल सके।
अभी तक इस योजना के प्रथम एवं द्वितीय चरण में रतलाम मंडल के कुल 12 स्टेशनों इंदौर, उज्जैन, देवास, रतलाम, दाहोद, शुजालपुर,चित्तौडग़ढ़, नीमच, मंदसौर, नागदा, सीहोर, मक्सी स्टेशनों पर ओएसओपी आउटलेट्स इंस्टॉल किए जा चुके हैं तथा मंडल के छ: अन्य स्टेशनों फतेहाबाद चंद्रावतिगंज, जावरा, चंदेरिया, डॉ. अम्बेडकर नगर, निम्बाहेड़ा तथा लक्ष्मीबाई नगर स्टेशन पर आउटलेट्स इंस्टॉलेशन का कार्य किया जा रहा है तथा इसे पूर्ण होते ही मंडल के 18 स्टेशनों पर कुल 18 ओएसओपी आउटलेट्स हो जाएंगे। इस योजना के तहत अभी तक कुल 261 स्टॉल लगाए जा चुके हैं तथा स्टॉल संचालकों द्वारा लगभग रुपये 60 लाख के 52000 से अधिक सामानों की बिक्री की गई है। मंडल पर अभी तक 55 लाभार्थियों ने इस योजना का लाभ लिया है तथा जैसे जैसे स्टेशनों पर आउटलेट्स की संख्या बढ़ेगी लाभार्थियों की संख्या भी बढ़ेगी जो कि इस योजना के मूल उद्देश्य वोकल फॉर लोकल को चरितार्थ करेगा।
रतलाम मंडल के विभिन्न स्टेशन पर वन स्टेशन वन प्रोडक्ट योजना के तहत अभी तक विभिन्न स्थानीय उत्पाद जैसे भैरोगढ़ प्रिंट, जूट प्रोडक्ट, लेदर प्रोडक्ट, लकड़ी के खिलौने, शहद, बेकरी , हर्बल एवं ग्रीन टी, सेमी प्रोसेस्ड फूट आइटम जैसे-अचार, पापड़, खाखरा, आंवला कैंडी, मुरब्बा, आदिवासी प्रोडक्ट इत्यादि का स्टॉल लगाया गया है तथा मंडल सभी स्टेशनों पर इन स्टॉलों को काफी सकारात्मक प्रतिसाद मिला है।
इस योजना को और अधिक कारगर बनाने के लिए रेलवे द्वारा मंडल के वर्तमान में 12 स्टेशनों पर उपयुक्त स्थान पर आकर्षक आउटलेट इलेक्ट्रिक कनेक्शन के साथ तैयार कर 15 दिन के लिए उपलब्ध कराई जा रही जिसे 60 दिनों के लिए उपलब्ध कराने की योजना है। रतलाम मंडल पर कुछ ही दिनों में ओएसओपी आउटलेट्स की संख्या 18 हो जाएगी।
इस योजना के तहत स्वयं सहायता समूह या स्थानीय संगठन द्वारा अपने उत्पादों का विवरण देकर स्टेशन पर दो महीने के लिए स्टॉल लगा सकते हैं । इसमें रजिस्ट्रेशन के रूप में उन्हें मात्र 1000 रेल प्रशासन के पास जमा करने होंगे। इस योजना में स्थानीय खानपान के गुणवत्ता युक्त सामान (जैसे अचार, मुरब्बा, पापड़, खाखरा, गजक इत्यादि), हैंडिक्राफ्ट, हैंडलूम, स्थानीय कलाकृतियॉं, स्थानीय खिलौने, चमड़े का सामान,स्थानीय पोशाक, पारंपरिक उपकरण/सामान, प्रसंस्कृत/अद्र्ध प्रसंस्कृत फुड आयटम सहित अन्य वस्तुएं जो उस विशिष्ट क्षेत्र से संबंध रखते है, को शामिल किया गया। इस योजना के अंतर्गत सामग्री/उत्पाद के विक्रय के लिए आवेदक या विकास आयुक्त हस्तशिल्प/विकास आयुक्त हथकरघा या केन्द्र सरकार द्वारा जारी कारीगर/विवर कार्ड धारक/ट्राईफेड/एमएसएमई में पंजीकृत कारीगर/बुनकर/शिल्पकार या स्वयं सहायता समूह जो प्रधानमंत्री एम्प्लायमेंट जेनरेशन प्रोग्राम में पंजीकृत या समाज के बीपीएल कार्ड धारक होने चाहिए।
इस योजना के तहत इच्छुक व्यक्ति, संस्था या स्वयं सहायता ग्रुप संबंधित रेलवे स्टेशन के स्टेशन प्रबंधक को अपना आवेदन पत्र प्रस्तुत कर सकते हैं। इस प्रकार के स्टॉल लगाने के लिए रजिस्ट्रेशन शुल्क के अतिरिक्त किसी प्रकार का अन्य शुल्क नहीं है।
हिन्दुस्थान समाचार/ शरद जोशी
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