विद्या से बड़ा कोई धन नहीं, विद्वान का यत्र-तत्र सर्वत्र होता है सम्मान : खाद्य मंत्री राजपूत

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विद्या से बड़ा कोई धन नहीं, विद्वान का यत्र-तत्र सर्वत्र होता है सम्मान : खाद्य मंत्री राजपूत


विद्या से बड़ा कोई धन नहीं, विद्वान का यत्र-तत्र सर्वत्र होता है सम्मान : खाद्य मंत्री राजपूत


- मंत्री राजपूत ने सुरखी विधानसभा क्षेत्र के 800 से अधिक प्रतिभावान विद्यार्थियों का किया सम्मान

भोपाल, 19 दिसंबर (हि.स.)। मध्य प्रदेश के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने शुक्रवार को सुरखी विधानसभा क्षेत्र के प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को सम्मानित किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि शिक्षा ही समाज और राष्ट्र की प्रगति की सबसे मजबूत नींव है। विद्या से बढ़कर कोई धन नहीं। विद्वान सर्वत्र पूजा जाता है। हमारे प्रदेश-देश के विद्वानों का सम्मान देश के बाहर सात समंदर पार भी होता है।

सम्मान समारोह 2025 महाकवि पद्माकर सभागार में गरिमामय एवं उत्साहपूर्ण वातावरण में संपन्न हुआ। समारोह में शैक्षणिक सत्र के दौरान 70 प्रतिशत से अधिक अंक अर्जित करने वाले विद्यार्थियों को सम्मानित किया गया। मंत्री राजपूत ने मेधावी विद्यार्थियों को प्रशस्ति-पत्र एवं एक- एक हजार रुपये प्रदान कर उनका उत्साहवर्धन किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आई.टी. के विद्यार्थी सारे विश्व में बड़ी-बड़ी वैज्ञानिक संस्थाओं का संचालन कर रहे हैं। चाहे वह नासा हो या अन्य कोई जगह ग्रामीण प्रतिभायें जितनी तेजी से विद्या ग्रहण कर रही हैं वह अपने आप में एक बड़ी उपलब्धि है।

मंत्री राजपूत ने कहा कि सुरखी विधानसभा में बड़े शहरों की भांति विद्यालय है। स्मार्ट क्लासेस है। अच्छी प्रयोगशालाएं है। यह सब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी एवं डॉ. मोहन यादव सरकार की शिक्षा की उच्च गुणवत्ता के मापदंड है। सरकार का लक्ष्य है कि ग्रामीण और अर्धशहरी क्षेत्रों में भी विद्यार्थियों को आधुनिक एवं गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराई जाए। मंत्री राजपूत ने सभी छात्र-छात्राओं पर पुष्प वर्षा कर उनका उत्साहवर्धन किया। मंत्री राजपूत ने प्रतिभावान विद्यार्थियों को को स्कूटी वितरण कर उन्हें शुभकामनाएं दी।

सरकार द्वारा विद्यार्थियों को डिजिटल शिक्षा से जोड़ने के उद्देश्य से 335 विद्यार्थियों को लैपटॉप तथा 22 विद्यार्थियों को स्कूटी वितरित की गई हैं। वहीं कक्षा 9वीं के विद्यार्थियों को 2028 निःशुल्क साइकिलों का वितरण कर शिक्षा को सुलभ बनाया गया।

विद्यालयों के अधोसंरचना विकास के अंतर्गत 7 अतिरिक्त कक्षों को प्रयोगशालाओं के लिए स्वीकृति प्रदान की गई। इनमें शासकीय कन्या उमावि राहतगढ़ एवं मीरखेड़ी में लगभग 19.86 लाख रुपये तथा शासकीय हाईस्कूल गुरैया एवं भीष्मनगर में 18.55 लाख रुपये की लागत से निर्माण कार्य स्वीकृत हुए। इसके अतिरिक्त 22 विद्यालयों के अनुरक्षण हेतु 70.18 लाख रुपये की राशि भी स्वीकृत की गई है।

शिक्षा उन्नयन की दिशा में 29 माध्यमिक विद्यालयों को हाईस्कूल तथा 16 हाईस्कूल को हायर सेकेंडरी में उन्नयन के प्रस्ताव भेजे गए हैं। साथ ही 27 विद्यालयों के लिए आईसीटी प्रोजेक्ट, 33 विद्यालयों में फर्नीचर की मांग, 8 विद्यालयों में आईसीटी लैब, तथा स्मार्ट क्लास की सुविधा क्रमशः 13 विद्यालयों में 27 पैनल एवं 46 विद्यालयों में 46 पैनल के माध्यम से उपलब्ध कराई जा रही है। इस अवसर पर अन्य जनप्रतिनिधि, शिक्षक, विद्यार्थी एवं ग्रामीण जन उपस्थित थे।

हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर

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