मुरैना : अंचल पानी-पानी, जनजीवन हुआ अस्त व्यस्त
- नदी नाले उफने, कई जर्जर मकान गिरे
- मुरैना विधानसभा के परीक्षा गांव में आसन नदी का पानी घुसा
मुरैना, 12 सितम्बर (हि.स.)। मंगलवार की रात से हो रही बरसात ने पूरे अंचल को अपने आगोश में ले लिया है। लगातार हो रही बारिश की वजह से जन जीवन अस्त व्यस्त हो गया है। नदी नाले उफान पर हैं तथा कई निचली बस्तियों में पानी भर गया है। इतना ही नहीं पुराने मकानों की दीवाल गिरने की खबरें सामने आई हैं। दो दिन से भी अधिक समय से हो रही बरसात की वजह से वातावरण भी ठण्डा हो गया है। उधर प्रशासन एवं पुलिस के अधिकारी भी स्थिति पर नजर रखे हुए हैं। जहां-जहां नदिया , नाले व तालाब उफान पर हैं वहां-वहां राजस्व विभाग के लोगों को निगरानी हेतु भेजा गया है। उधर बुधवार को पगारा बांध के कैचमेंट एरिया में डूबे युवक का आज भी कुछ पता नहीं चला है। उल्लेखनीय है कि बुधवार को पगारा बांध के पानी में पांच युवक डूब गए थे। जिसमें से दो को ग्रामीणों ने बचा लिया था। दो युवकों के शव बीते दिवस ही बरामद हो गए थे तथा एक युवक का अभी भी कुछ पता नहीं चला है। आज दिन भर एसडीआरएफ की टीम युवक को खोजती रही।
मंगलवार से पानी बरसने का जो दौर प्रारंभ हुआ वह आज गुरुवार को देर शाम तक भी जारी रहा। वैसे तो पूरे जिले में ही बरसात हो रही है लेकिन मुरैना, जौरा, कैलारस व सबलगढ़ क्षेत्र में अधिक बारिश हो रही है। यही वजह है कि पगारा बांध जहां लबालब होकर उसके सभी ऑटोमेटिक गेट खुल गए हैं वहीं क्वारी, आसन, सांक नदियों में पानी बढ़ गया है। स्थिति यह है कि इन नदियों के किनारे के गांवों में रहने वाले लोग दहशत में हैं। इन नदियों से लगे रपटों पर पानी तो तीन दिन पहले ही आ गया था अब स्थिति यह है कि रपटे के उपर पांच फीट तक पानी बह रहा है। जिस वजह से कई गांवों का संपर्क तहसील व जिला मुख्यालयों से टूट गया है। गांवों की ओर जाने वाले रास्ते कीचड़ व पानी से भरे पड़े हैं। यही स्थिति शहरी इलाकों में भी है। जौरा, कैलारस की कई गलियां जलमग्न हो गईं हैं। लोगों को आवागमन करने में भी भारी परेशानी आ रही है। बरसात को देखते हुए प्रशासन भी अलर्ट है। यही वजह है कि आज जहां-जहां नदी, नाले, तालाब में पानी बढ़ा है वहां-वहां राजस्व, पुलिस व ग्राम पंचायतों के प्रतिनिधियों को भेजकर स्थिति पर नजर रखने को कहा गया है।
लगातार हो रही बारिश से गुरुवार को भी पगारा बांध के सभी ऑटोमेटिक गेट खुले रहे। सहायक यंत्री राहुल यादव ने बताया कि गुरुवार की शाम 5 बजे तक लगभग 15000 क्यूसेक पानी निकल रहा था। 654 फीट की क्षमता वाले इस पगारा बांध में 657.5 फिट पानी चल रहा था। श्री यादव ने यह भी बताया कि यहां पर तैनात हमारे कर्मचारियों द्वारा आने वाले सैलानियों को पानी से दूर रहने की हिदायत दी जा रही है, लेकिन लोग मानते नहीं है। कर्मचारियों से लड़ झगड़ कर नहाने के लिए पहुंच जाते हैं। बुधवार को भी हमारे कर्मचारियों ने पांचो युवकों से तेज बहाव की तरफ जाने की सख्त मना भी की थी ।
इसके अलावा लगातार दो दिन की बारिश के कारण नगर कैलारस एवं आंतरी के बीच बहने वाली क्वारी नदी का रूप भी विकराल हो गया है। वर्षा के कारण पानी पुराने रेलवे पुल के नजदीक पहुंच गया है। जिसे देखने के लिए पुल पर काफी लोग पहुंच रहे हैं। वहीं, यह नदी का पानी पास में ही बने मां दुर्गा मंदिर के ऊपर भी दस्तक दे रहा है। अगर वर्षा लगातार जारी रही तो यहां पर बड़ा खतरा उत्पन्न हो सकता है । पुल पर किसी भी प्रकार की कोई भी प्रशासनिक व्यवस्थाएं नहीं हैं, जो कभी भी दुर्घटना का कारण बन सकती है। जबकि जिला प्रशासन का निर्देश है कि ग्रामीण क्षेत्रों में बहने वाले नदी नालों पर सुरक्षा व्यवस्था माकूल की जावे। इसके अलावा ग्राम रिझोनी रोड की पुलिया ,ग्राम बस्तौली, ब्रज बजाना, चमरगंवा ,एरोली सहित अन्य गांवों की पुलियों पर भी पानी बहुत मात्रा में उपर से बह रहा है।
हिन्दुस्थान समाचार/शरद
हिन्दुस्थान समाचार / शरद शर्मा
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