केंद्रीय सरना समिति की ओर से सरहुल पर कोई झांकी नहीं निकाली गयी : फूलचंद तिर्की
रांची, 12 अप्रैल (हि.स.)। केंद्रीय सरना समिति के अध्यक्ष फूलचंद तिर्की ने स्पष्ट करते हुए कहा है कि फर्जी केंद्रीय सरना समिति बनाकर कुछ लोग समिति को बदनाम कर रहे हैं। केंद्रीय सरना समिति की ओर से सरहुल पर कोई झांकी नहीं निकाली गयी थी। निजी स्वार्थ के खातिर समाज का राजनीतिकरण कर बदनाम करने का काम किया गया है।
फूलचंद तिर्की ने शुक्रवार को कचहरी स्थित आरटीआई भवन में संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि फर्जी केंद्रीय सरना समिति भारत के जरिये नारायण उरांव के नेतृत्व में आचार संहिता का उल्लंघन करते हुए राजनीतिक झांकी निकाली गई थी। इस झांकी में झामुमो के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को जेल के अंदर दिखलाया गया था और स्लोगन भी लिखा था कि जेल का ताला टूटेगा हेमंत सोरेन छूटेगा। उन्होंने बताया कि 11 अप्रैल को केंद्रीय सरना समिति की ओर से अल्बर्ट एक्का चौक पर श्रमिक स्वागत मंच लगाया गया था। केंद्रीय सरना समिति का झांकी से कोई लेना देना नहीं है। समिति को साजिश के तहत बदनाम करने की कोशिश की गयी है। उन्होंने कहा कि हम लोगों को झूठे केस में फंसाया गया है।
तिर्की ने कहा कि केंद्रीय सरना समिति का बाबा कार्तिक उरांव के जरिये 1970 में गठन किया गया था, जिसका उद्देश्य सरना समाज को धार्मिक, सामाजिक, सांस्कृतिक रूप से एकजुट करना था। लेकिन फर्जी केंद्रीय सरना समिति के जरिये बाबा कार्तिक उरांव के आदर्शों को चकनाचूर किया जा रहा है।
उल्लेखनीय है कि सरहुल में पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से संबंधित सरहुल के दिन झांकी निकालने के दौरान चुनाव आचार संहिता उल्लंघन मामले में 26 लोगों के खिलाफ गुरुवार रात प्राथमिकी दर्ज की गई थी। झांकी में ''जेल का ताला टूटेगा, हेमंत सोरेन छूटेगा'' के साथ-साथ ईडी-सीबीआई का भी जिक्र था। इसे लेकर रांची जिला प्रशासन ने कोतवाली थाना में एफआईआर दर्ज करायी है। सरहुल शोभायात्रा के दौरान तैनात दंडाधिकारी विनय कुमार के बयान पर रांची के कोतवाली थाने में केंद्रीय सरना समिति के अध्यक्ष सहित 26 लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है।
हिन्दुस्थान समाचार/ विकास/वीरेन्द्र
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