आरक्षित जातियों में क्रीमी लेअर को अलग रखने का नियम जल्द हो लागू : शान्ता कुमार
शिमला, 6 अगस्त (हि.स.)। पूर्व मुख्यमंत्री एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री शान्ता कुमार ने कहा है कि सुप्रीम काेर्ट ने एक अत्यन्त महत्वपूर्ण निर्णय दिया है कि आरक्षित जातियों में क्रीमी लेअर को अलग रखना चाहिए। जो लोग इसका विरोध कर रहे है वे इस विषय पर गहराई से विचार करे। कोर्ट के आदेश के बाद आरक्षित जातियों में क्रीमी लेअर को अलग रखने का नियम जल्द लागू होना चाहिए।
शान्ता कुमार ने मंगलवार को यहां एक बयान जारी कर कहा कि भारत में लम्बे समय से कुछ जातियों को आरक्षण की सुविधा दी गई है। उन जातियों में कुछ प्रभावशाली परिवारों ने कई बार आरक्षण का लाभ उठाया, परन्तु उन्हीं जातियों में कुछ ऐसे गरीब लोग आज भी हैं, जिन्हें आरक्ष्ण का कभी कोई लाभ नही मिला। इसका परिणाम यह है कि आरक्षित जातियों में कुछ परिवार अधिक सम्पन्न हो गये और कुछ परिवार बहुत गरीब रह गये। शान्ता कुमार ने सुप्रीम काेर्ट के निर्णय का पूरा समर्थन किया है, परन्तु यह कहा है कि आरक्षित जातियों के आरक्षण में कोई कमी न हो परन्तु उन में सबसे पहले आरक्षण उसको मिले जिसे आरक्षण का लाभ एक बार भी नही हुआ हो।
उन्होंने कहा कि आरक्षित जातियों में सभी पार्टियों में जो नेता है, वे सब उसी क्रीमी लेअर में आते हैं। इसलिए लगभग सभी दलों के आरक्षित जातियों के नेता इस निर्णय का विरोघ कर रहे है। उन्होंने कहा कि इन जातियों के आरक्षण में किसी प्रकार की कमी की बात नही कह रहा हूं। सुप्रीम काेर्ट के आदेश को इसी प्रकार लागू किया जाए कि अब आरक्षण उसी को मिले जिसको पहले आरक्षण का लाभ नही मिला है। यह न्याय संगत है। आज हालत यह है कि
आरक्षित जातियों में ही कुछ परिवार कई बार आरक्षण का लाभ उठा कर अमीर हो गये और कुछ परिवार पहले की स्थिति में रह रहे है। सुप्रीम काेर्ट ने इस अन्याय को समाप्त करने की बात कह कर एक ऐतिहासिक निर्णय दिया है। इसे जल्द लागू किया जाना चाहिए।
हिन्दुस्थान समाचार / सुनील शुक्ला / सुनील कुमार सक्सैना
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