आपदा राहत में सुक्खू सरकार पूरी तरह विफल और संवेदनहीन: जयराम ठाकुर
शिमला, 21 दिसंबर (हि.स.)। पूर्व मुख्यमंत्री एवं नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रदेश सरकार पर आपदा राहत और पुनर्वास के मामले में गंभीर लापरवाही के आरोप लगाए हैं। रविवार को शिमला से जारी बयान में उन्होंने कहा कि प्रदेश में आई आपदा को छह महीने से अधिक समय बीत चुका है, लेकिन सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार अब तक बह चुकी सड़कों को अस्थायी रूप से भी बहाल नहीं कर पाई है। इसके चलते मंडी और आसपास के जिलों की सैकड़ों पंचायतें आज भी सड़क संपर्क से कटी हुई हैं और अनेक गांव वाहनों की पहुंच से बाहर हैं।
जयराम ठाकुर ने कहा कि हालात इतने खराब हैं कि आपात स्थिति में मरीजों, बुजुर्गों और गर्भवती महिलाओं को पालकी पर कई-कई किलोमीटर पैदल चलकर अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि जिन सड़कों को आपदा में नुकसान हुआ, उन्हें पक्का करना तो दूर, उनके गड्ढे तक नहीं भरे जा सके हैं। विभागीय अधिकारी बजट न होने का हवाला देकर अपनी असमर्थता जता रहे हैं, लेकिन बजट क्यों नहीं है, इसका जवाब सरकार न तो जनता को दे रही है और न ही विधानसभा में।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मंडी और आसपास के क्षेत्रों में सबसे अधिक तबाही हुई, लेकिन सरकार ने राहत कार्यों की बजाय जश्न और उत्सवों को प्राथमिकता दी। केंद्र सरकार से आपदा राहत के लिए मिले धन का उपयोग भी सही ढंग से नहीं किया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि जिस तेजी से मुख्यमंत्री ने संस्थानों को शिफ्ट किया और आपदा प्रभावितों पर मुकदमे दर्ज करवाए, उतनी फुर्ती अगर सड़क बहाली में दिखाई जाती तो हालात इतने खराब न होते।
जयराम ठाकुर ने कहा कि सर्दियों और संभावित बर्फबारी से पहले भी सरकार ने न तो अस्थायी आवास की व्यवस्था की और न ही ठंड से बचाव के लिए कोई ठोस योजना बनाई। उन्होंने मांग की कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों में तुरंत राहत, सड़क बहाली और अस्थायी आवास के लिए तत्काल बजट जारी किया जाए।
उन्होंने सरकार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि एक ओर मरीजों को दवाइयां नहीं मिल रहीं, सड़कों के लिए बजट नहीं है, वहीं दूसरी ओर मित्रों के लिए क्रिकेट प्रतियोगिताएं आयोजित की जा रही हैं। जनस्वास्थ्य से जुड़े विभागों को इवेंट मैनेजमेंट की तरह चलाना जनता के साथ धोखा है।
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हिन्दुस्थान समाचार / सुनील शुक्ला

