क्रॉस वोटिंग मामला: गुड़गांव की हेलीकॉप्टर कम्पनी के अधिकारी से शिमला पुलिस की पूछताछ

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शिमला, 09 अक्टूबर (हि.स.)। हिमाचल प्रदेश की एक सीट पर हुए राज्यसभा चुनाव के दौरान क्रॉस वोटिंग में कथित खरीद फरोख्त और प्रदेश सरकार को गिराने के लिए षड्य़ंत्र रचने के मामले में शिमला पुलिस ने उन तीन हेलिकॉप्टर कम्पनियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है, जिनमें क्रॉस वोटिंग करने वाले विधायकों ने हवाई यात्रा की थी। पुलिस ने एक हेलीकॉप्टर कम्पनी के अधिकारी को शिमला तलब कर उनसे विधायकों की हवाई सेवाओं का ब्यौरा जुटाया। कम्पनी के अधिकारी ने क्रॉस वोटिंग करने वाले विधायकों की हवाई यात्रा से जुड़ा रिकार्ड एसआईटी को मुहैया करवाया है।

प्राप्त जानकारी के अनुसार कंपनी के अधिकारी से हुई पूछताछ में शिमला पुलिस की एसआईटी को अहम जानकारी मिली है। इसके आधार पर एसआईटी अब अगली कार्रवाई में जुट गई है। एसआईटी यह पता लगा रही है कि तत्कालीन विधायकों की हवाई सेवा पर हुए भारी भरकम खर्चे की अदायगी किस व्यक्ति ने की है। एसआईटी ने कम्पनी के अधिकारी से यह भी पूछा कि किसके कहने पर उन विधायकों के लिए हेलीकॉप्टर बुक किये गए थे। माना जा रहा है कि एसआईटी जल्द इस मामले में बड़ा खुलासा कर सकती है।

हेलीकॉप्टर कम्पनियों पर जांच में सहयोग नहीं करने का आरोप, गुड़गांव से खाली हाथ लौटी थी शिमला पुलिस

इससे पहले शिमला पुलिस हेलीकॉप्टर कंपनियों से तत्कालीन विधायकों की हवाई सेवाओं का रिकॉर्ड और इस पर खर्च होने वाली राशि का ब्योरा मांग चुकी है, लेकिन कंपनियां जहां रिकॉर्ड देने में आनाकानी करती रही है, वहीं पुलिस जांच में भी सहयोग नहीं किया था। शिमला पुलिस कोर्ट से सर्च वारंट लेकर हेलीकॉप्टर कम्पनियों का रिकार्ड खंगालने गुडगांव गई थी लेकिन वहां से उसे बैरंग लौटना पड़ा था। तब शिमला पुलिस की जांच में गुरूग्राम पुलिस ही पूरी तरह से बाधक बनी थी।

दरअसल बीते जुलाई महीने में हेलीकॉप्टर कम्पनियों में दबिश देने गई शिमला पुलिस की टीम को गुरूग्राम पुलिस राजेंद्रा पार्क सैक्टर-105 थाने ले गई और देर रात तक वहां रोके रखा। इसके बाद इस टीम को शिमला खाली हाथ लौटना पड़ा था।

एसआईटी छह माह से कर रही क्रॉस वोटिंग मामले की जांच

एसआईटी पिछले करीब छह माह से क्रॉस वोटिंग व राज्य सरकार को अस्थिर करने के मामले की तफ्तीश कर रही है। इस दौरान भाजपा विधायक आशीष शर्मा, पूर्व विधायक चौतन्य शर्मा व उनके पिता पूर्व आईएएस राकेश शर्मा, पूर्व विधायक राजेन्द्र राणा, देवेंद्र भुट्टो, रवि ठाकुर, हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के प्रचार सलाहकार रहे तरुण भंडारी से पूछताछ की जा चुकी है। मामले के अनुसार आशीष शर्मा और राकेश शर्मा पर आरोप है कि उन्होंने प्रदेश सरकार को गिराने के लिए षड़यंत्र रचा। राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग करने वाले तत्कालीन विधायकों के फाइव-सेवन स्टार होटल में ठहरने, खाने-पीने और हेलिकॉप्टर से उन्हें ले जाने का इंतजाम किया।

10 मार्च को बालूगंज पुलिस स्टेशन में हुई थी एफआईआर

बता दें कि कांग्रेस के विधायक संजय अवस्थी और भुवनेश्वर गौड़ ने बीते 10 मार्च को बालूगंज थाना में आशीष शर्मा और राकेश शर्मा के खिलाफ एफआईआर कराई। एफआईआर में 171 ई, 171सी, 120 बी और र्भ्ष्टाचार निवारण अधिनियम के सेक्शन 7 व 8 में मुकदमा दर्ज हुआ है। इन पर आरोप है कि इन्होंने सरकार को गिराने के लिए षड़यंत्र रचा।

मामले के अनुसार बीते 27 फरवरी को राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोट के बाद कांग्रेस के छह बागी सहित तीन निर्दलीय विधायक भी करीब दो हफ्ते तक हरियाणा के पंचकूला के एक होटल में ठहरे। इसके बाद वे उतराखण्ड के ऋषिकेष गए। ऋषिकेश से गुड़गांव पहुंचे। इस दौरान उनकी हवाई यात्रा, उनके होटलों में ठहरने व खाने-पीने के बिलों का भुगतान जिन्होंने किया, पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है। इस कड़ी में शिमला पुलिस उतराखण्ड के एक ट्रेवल एजेंट से भी पूछताछ कर चुकी है।

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हिन्दुस्थान समाचार / उज्जवल शर्मा

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