हिसार : मजदूरों की जांच की बजाय मंत्री अपने अधिकारियों की जांच करवाए : मनोज सोनी

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हिसार : मजदूरों की जांच की बजाय मंत्री अपने अधिकारियों की जांच करवाए : मनोज सोनी


पंजीकृत मजदूरों के लाभ रोकना गैर कानूनी

हिसार, 31 दिसंबर (हि.स.)। भवन निर्माण कामगार

यूनियन के राज्य महासचिव सुखबीर सिंह व राज्य प्रधान मनोज सोनी ने राज्य के श्रम मंत्री

के उस बयान को अज्ञानता भरा बताया है, जिसमें उन्होेंने कहा हैे कि 90 दिन की वेरिफिकेशन

में फर्जीवाड़ा हुआ। उन्होंने कहा कि वर्ष 2014 से 2018 के बीच कैंप लगाकर रजिस्ट्रेशन

किए गए और राजनीतिक लाभ लेने के लिए बड़ी संख्या में करीब 60 प्रतिशत मजदूरों का रजिस्ट्रेशन

किया गया।

मजदूर नेताओं ने बुधवार काे कहा कि सरकार द्वारा एक तरह से

मजदूरों के साथ धोखा किया गया है और 2018 में सरकार द्वारा ऑनलाइन व्यवस्था करके मजदूरों

को लूटने का अधिकार अधिकार दे दिया गया। निर्माण का काम करने वाले मजदूर को भी अपनी

90 दिन की वेरिफिकेशन के लिए दर-दर भटकना पड़ा। उन्होंने आरोप लगाया कि मजदूर की वेरिफिकेशन

हुई भी तो बिना पैसे के नहीं हुई। आज राज्य के श्रम मंत्री मजदूरों का लाभ रोके हुए

है तथा मजदूरों को फर्जी बता रहा है जो कि गैरकानूनी तरीका है।

इसलिए मजदूरों को फर्जी

कहना उनका अपमान है। मजदूर नेताओं ने कहा कि सरकार मजदूरों की जांच की बजाय अपनी सरकार

व अधिकारियों की जांच करनी चाहिए या उस निर्णय की करनी चाहिए जिसके तहत पंचायत सचिवों

व पटवारियों को वेरिफिकेशन का अधिकार दिया गया। वर्क स्लिप के नाम पर मजदूरों से लूट

मचाई। मजदूरों ने आन्दोलन किया लेकिन उनके पक्ष को नहीं सुना गया बल्कि फरमान जारी

किया गया।

संगठन नेताओं ने कहा कि 2018 से पहले यूनियनों

को वेरिफिकेशन का अधिकार था, मजदूर आसानी से लाभ प्राप्त कर लेता था। पूर्व श्रम मंत्री

नायब सिंह सैनी के कार्यकाल में कैंप लगाकर किए गए पंजीकरण को अनिल विज ने फर्जी बताया। आज मजदूरों के अधिकारों को सरकार ने सब कुछ केंद्रीकृत

करके मजदूरों को लूटने का निर्णय कर दिया। मजदूर नेताओं ने चेतावनी दी कि मजदूरों के

हकों पर हमला बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इसके विरोध में 17 व 18 जनवरी को जींद, महम,

भिवानी, पंचकूला आदि जगहों पर मंत्रियों के आवास पर प्रदर्शन करेंगे।

हिन्दुस्थान समाचार / राजेश्वर

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