सिरसा: सीडीएलयू के छात्र-छात्राओं ने किया पुरातात्विक स्थलों का क्षेत्र परीक्षण

सिरसा: सीडीएलयू के छात्र-छात्राओं ने किया पुरातात्विक स्थलों का क्षेत्र परीक्षण
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सिरसा: सीडीएलयू के छात्र-छात्राओं ने किया पुरातात्विक स्थलों का क्षेत्र परीक्षण


सिरसा, 8 अपैरल (हि.स.)। चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय, सिरसा के इतिहास एवं पुरातत्व विभाग के छात्र-छात्राओं ने अग्रोहा एवं राखी गढ़ी के पुरातात्विक स्थलों का भ्रमण किया। विभाग की अध्यक्ष प्रोफेसर मोनिका वर्मा ने बताया कि इस दल की अगुवाई विभाग की प्राध्यापिका डॉ नीलम रानी तथा डॉ प्रवीण कुमार ने की।

डॉ. नीलम ने अग्रोहा के ऐतिहासिक पुरास्थल के बारे में बताया कि यह पूरा स्थल प्राचीन अग्रगण की राजधानी हुआ करता था। जहां से हमें आज भी तीसरी सदी ईस्वी पूर्व से तेहरवीं सदी ईस्वी पूर्व के अनेक वंशो से संबंधित अवशेष प्राप्त होते हैं। जिनमें अग्रगण, मौर्य, कृपाण एवं गुप्तो के सिक्के विशेष रूप से उल्लेखनीय है। इसके पश्चात सभी छात्र-छात्राएं विश्व की प्राचीनतम सभ्यताओं में से एक हड़प्पा सभ्यता के विशालतम पुरास्थल एवं वैश्विक धरोहर पुरास्थल राखीगढ़ी पहुंचे, जहां भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग के चंडीगढ़ सर्कल के पुरातात्विक एवं राखीगढ़ी उत्खनन के वर्तमान उपनिदेशक अंखित प्रधान ने राखीगढ़ी में चल रहे उत्खनन कार्य के बारे में विस्तार से बताते हुए छात्रों को 3डी मेजरमेंट विधि के साथ-साथ इसकी महत्ता के बारे में बताया।

इसके अलावा अस्तित्व संगठन के मेंबर मान विश्वा ने एंटीक्विटीज़ के प्रयोग एवं वर्तमान महत्व को विस्तार से समझाया एवं राखीगढ़ी के टीला नंबर 2-3 के बारे में बच्चों को अवगत करवाया। अंत में क्षेत्र प्रशिक्षण की उत्तम व्यवस्था एवं विश्वविद्यालय से बस उपलब्ध करवाने के लिए विभागाध्यक्ष ने विश्वविद्यालय प्रशासन का धन्यवाद किया ।

हिन्दुस्थान समाचार/रमेश/सुमन/संजीव

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