हिसार: भारत को विश्व गुरु बनाने में कारगर सिद्ध होगी राष्ट्रीय शिक्षा नीति: प्रो. नरसी राम बिश्नोई
हिसार, 15 दिसंबर (हि.स.)। गुरु जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 21वीं सदी के भारत को विश्व गुरु बनाने में कारगर सिद्ध होगी। यह शिक्षा नीति शिक्षा से संबंधित सभी व्यवस्थाओं को अत्यंत सृजनात्मक तथा स्पष्टता से उल्लेखित करती है। यह नीति विद्यार्थियों को बेहतर व्यवसायी के साथ-साथ एक अच्छा मानव बनाने में भी सहयोगी होगी। वे शुक्रवार को मालवीय मिशन शिक्षक प्रशिक्षण केन्द्र (एमएमटीटीसी) की ओर से पहले राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 (एनईपी) ओरिएंटेशन एंड सेंसिटाइजेशन कार्यक्रम में बोल रहे थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता एमएमटीटीसी के निदेशक प्रो. नीरज दिलबागी ने की।
कुलपति ने कहा कि वर्तमान समय में वैश्विक परिदृश्य तेजी से बदल रहा है। ऐसे में विद्यार्थियों के लिए केवल जानना ही महत्वपूर्ण नहीं है, बल्कि यह भी महत्वपूर्ण है कि विद्यार्थी क्या जानें और कैसे जानें। वर्तमान समय में शिक्षा को और अधिक सृजनात्मक, बहुविषयक, समस्याओं का समाधान करने वाली शोधपरक तथा नई संभावनाओं को तलाशने के बिंदुओं पर आधारित बनाया जाना आवश्यक है। नई शिक्षा नीति-2020 इन्हीं बिंदुओं को रेखांकित करती है। उन्होंने इस कार्यक्रम के प्रतिभागी शिक्षकों से कहा कि शिक्षा नीति की उपयोगिता व श्रेष्ठता इस बात पर निर्भर करती है कि शिक्षक किस प्रकार अपने विद्यार्थियों को इस संबंध में जागरूक तथा प्रेरित करते हैं।
एमएमटीटीसी के निदेशक प्रो. नीरज दिलबागी ने कहा कि इस कार्यक्रम के तहत शिक्षकों को प्रभावशाली शिक्षा तकनीकों से अवगत कराया जाएगा, जो कि विद्यार्थियों के कौशल को बढ़ावा देने में उपयोगी होंगी। उन्होंने कहा कि एमएमटीसी गुजविप्रौवि हिसार का यह पहला ओरिएंटेशन एंड सेंसिटाईजेशन कार्यक्रम है, जिसमें देशभर के उच्च शिक्षण संस्थानों के 58 शिक्षक भाग ले रहे हैं। कोर्स कोऑर्डिनेटर अनुराग सांगवान ने सभी का धन्यवाद किया।
हिन्दुस्थान समाचार/राजेश्वर/सुमन/संजीव
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