भागलपुर के मयंक ने एथिकल हैकिंग की दुनियां में किया तीसरा बड़ा काम
भागलपुर, 24 जून (हि.स.)। भागलपुर के बूढ़ानाथ के मयंक ने एथिकल हैकिंग की दुनियां में तीसरा बड़ा ऐसा काम किया जिससे लोगों का बड़ा नुकसान होने से बचा है। बूढ़ानाथ निवासी मयंक ने मोबाइल एप फोन पे में बड़ी गलती ढूंढ निकाली है। उसने फोन पे को बगैर ओटीपी के बायपास करते हुए लॉग इन कर लिया और फिर फोन पे को रिपोर्ट किया। फोन पे ने इसकी जांच के बाद मयंक को हॉल ऑफ फेम में शामिल किया है। मयंक को फोन पे सम्मानित करेगा।
मयंक ने बताया कि वह फोन पे चला रहे थे, तभी उसने उसमे बग ढूंढ निकाली बगैर ओटीपी के लॉग इन कर दिया और कम्पनी को रिपोर्ट किया। इससे इस समस्या का समाधान होगा ताकि दूसरा कोई इसका गलत तरीके से उपयोग नहीं कर सके। आसान शब्दों में कहें तो फोन पे में गलती ढूंढकर गलत होने से बचा लिया गया।
उल्लेखनीय है कि मयंक ने पिछले साल गूगल में बग ढूंढ निकाला था। इसमें उन्होंने स्क्रिप्ट तैयार की थी, जिसकी मदद से किसी को मेल भेजा जा सकता था। इसकी जानकारी उसने गूगल को दी। गूगल ने मयंक की सराहना करते हुए उसे आईफोन, लैपटॉप और कई सामान गिफ्ट किये थे। इतना ही नहीं मयंक ने नासा के साइट को परखकर पता कर लिया था कि नासा में काम करने वाले लोगों की डाटा की लीक किया जा सकता है। इसकी सूचना उसने नासा को दी थी। मयंक कलिंगा यूनिवर्सिटी में पढ़ाई करते हैं और एथिकल हैकिंग की दुनिया में नाम कमा रहे हैं।
हिन्दुस्थान समाचार/बिजय
/चंदा
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