षष्टम वित्त आयोग का पैसा प्रखंड स्तर पर खर्च नहीं होने से सरकार के प्रति जनप्रतिनिधियों में रोष :प्रखंड प्रमुख
...... पंचायती राज्य के नए नियमों के पेंच में फंसा षष्टम आयोग का पैसा, जनप्रतिनिधि हल्का में।
…......... पंचायती राज विभाग को ही इस वित्त आयोग का संशोधन कर पंचायतों का कर सकते हैं विकास।
पश्चिम चंपारण(बगहा), 24 अगस्त(हि.स.)। बगहा अनुमंडल के गंडक पार मधुबनी प्रखंड प्रमुख सह भाजपा महिला जिलाध्यक्ष, बीस सूत्री सदस्य विजया सिंह ने एक मंच साझा करते हुए शनिवार को लोगों के बीच कहा कि पंचायत के विकास के मद्द में अन्य कई तरह से खाता का संचालन किया जा रहा है,जिसमें जनप्रतिनिधियों का षष्टम वित्त आयोग का पैसा चेक के माध्यम से होता था, लेकिन पंचायती राज अधिनियम के बदलते नए नियमों के बीच जनप्रतिनिधियों के लिए परेशानियों का सबब बन चुका है,जिसके चलते जनप्रतिनिधियों को पंचायत के ग्रामीणों का कोपभाजन का शिकार प्रतिदिन होना पड़ रहा है।
जबकि इसके पूर्व के खातों से पैसे की निकासी बेहतर ढंग हो जाया करता था, कुछ समस्याओं को लेकर सभी खातों को बंद करना ठीक नहीं है। जिस पंचायत में समस्या उत्पन्न हुई है उसी पंचायत के उस वार्ड के खातों को बंद करना था। इधर मधुबनी प्रखंड में 10 पंचायत पड़ते हैं। जिसमें मुखिया समिति, वार्ड सदस्य समेत सभी जनप्रतिनिधि त्राहिमाम की स्थिति में मजबूर हैं। वही नहीं। 15 वा, षष्टम तथा पष्टम, वित्त आयोग के द्वारा पंचायतवार विभिन्न प्रकार से योजनाओं का चयन कर कार्य कराया जाता था। लेकिन षष्टम वित्त आयोग का ऐसी कौन सी पंचायती राज का के लिए आयोग में कीमत बढ़ गई है कि इसको पूरे बिहार में इसका पैटर्न बदल दिया गया है।
हम प्रेस वार्ता के माध्यम से पंचायती राज मंत्री, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार , डिप्टी चीफ मिनिस्टर सम्राट चौधरी, विजय कुमार सिन्हा तथा पंचायत राज से संबंधित अधिकारियों से मांग करती हूं कि इस कुव्यवस्था को बहुत जल्द से जल्द ठीक करें तथा षष्टम वित्त आयोग के पैसे का भुगतान जनप्रतिनिधियों के खाते में तुरंत भेजी जाय, यदि इसी तरह की खेल मिचौली जनप्रतिनिधियों के साथ चलती रही तो अब वो दिन दूर नहीं हैं, अब जनप्रतिनिधि दिल्ली तथा पंजाब की तरफ रुख कर जायेंगे, क्योंकि उस वित्त आयोग में सरकारी आदेश के अनुपालन में मुखिया बीडीसी या अन्य जनप्रतिनिधियों ने उस कार्य का करने के लिए कर्ज ले लिया है, यदि उस कर्ज को समय से वापस नहीं किया तो उसका घर तक बिक सकता है।
जबकि पूरे प. चंपारण जिला में सभी जनप्रतिनिधि आंदोलन करने पर विचार कर रहे हैं। जबकि मधुबनी प्रखंड में मुखिया सहित सभी जनप्रतिनिधि आंदोलन शुरू करने का मूड बना लिया है।इसी संदर्भ में मुखिया अध्यक्ष सह मुखिया विजय यादव ने कहा कि हम लोग प्रखंड प्रमुख के बातों से सहमत हैं तथा पंचायत की जनता इस बातों को नहीं समझ पाती है। उनको तो बस लगता है कि हमारे पंचायत का मुखिया आप हैं। गांव काम कराइए नहीं तो ठीक नहीं होगा। काम तो हमने कराया भी है।लेकिन पैसा का बोझ कर्ज इतना बढ़ गया है कि अब यदि सरकार पेमेंट नहीं करती है तो हम सब जनप्रतिनिधि प्रखंड कार्यालय के गेट पर ही अनशन जारी करेंगे। इसके लिए हम लोग एक आवेदन लिख रहे हैं और डीएम, एसडीएम को इस बाबत जानकारी पत्र सौंपेंगे।
हिन्दुस्थान समाचार /अरविंद नाथ तिवारी
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हिन्दुस्थान समाचार / अरविन्द नाथ तिवारी / चंदा कुमारी
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