बिहार के गौरवशाली इतिहास का एक सौ बारह साल पूरा होने पर ईस्ट एन वेस्ट में परिचर्चा आयोजित
सहरसा,23 मार्च (हि.स.)।बीएड व डीएलएड द्वितीय वर्ष के प्रशिक्षुओं का सौलह सप्ताह का विद्यालय अभ्यास शिक्षण का भी एक साथ समापन हुआ। स्थानीय ईस्ट एन वेस्ट टीचर्स ट्रेनिंग कॉलेज में बिहार के गौरवशाली इतिहास के एक सौ बारह वां स्थापना दिवस समारोह के साथ साथ बीएड व डीएलएड द्वितीय वर्ष के छात्राध्यापकों का एक सौ बारह दिवसीय विद्यालय अभ्यास शिक्षण कार्यक्रम का एक साथ शनिवार को समापन समारोह आयोजित किया गया।
समारोह का उद्घघाटन ईस्ट एन वेस्ट काॅलेज समूह के चेयरमैन डॉ रजनीश रंजन, प्राचार्य डॉ नागेन्द्र कुमार झा बीएड विभागाध्यक्ष डॉ बसंत कुमार मिश्रा, प्राध्यापक प्रमुख डाॅ प्रियंका पांडेय ने दीप प्रज्ज्वलित कर किया।अपने संबोधन में चेयरमैन ने सभी को बिहार दिवस की बधाई और शुमकामना देते हुए हर बिहारी को शिक्षित बन बिहार के विकास में अपना अपना योगदान देने का संदेश दिया।
उन्होने कहा कि बिहार की धरती से ही पूरे देश में सामाजिक न्याय की पहल ने पूरे देश को नई दिशा व दशा दिखाया है। बिहार की धरती देश का आन बान और शान है क्योंकि इस धरती ने गौतम बुद्ध, महावीर जैसे कितने महापुरुषों को जन्म दिया। उन्होंने कहा कि कोशी की धरती बिहार की विकास गाथा का संवाहक रहा है। धर्म व राजनीतिक रूप से भारती मंडन,भुपेंद्र नारायण मंडल, ललित नारायण मिश्र ने बिहार की इस धरती से समाजिक न्याय व विकास को देश के मानचित्र पर स्थापित कर दिखाया। जिस कारण बिहार अपने वैभवशाली अतीत को आज भी भुला नहीं सकता है।
उपस्थित छात्राध्यापक व छात्राध्यापिकाओं से कहा कि बिहारी अस्मिता ही हर बिहारी की अपनी पहचान है। इसलिए बिहार की अतीत गौरवशाली इतिहास व बिहार की पहचान को अक्षुण्ण बनाये रखना हर बिहारी का धर्म भी है। कार्यक्रम पर सभी विद्यालय के टीम लीडर ने भी अपने अपने विचार को व्यक्त किये।
हिन्दुस्थान समाचार/अजय/चंदा
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