वायरस को पनपने के लिए यहीं मिलेगी खुराक, कोरोना काल में दुलहीपुर में गंदगी की भरमार

DULAHIPUR
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चंदौली। अरब सागर में चक्रवाती तूफान व पश्चिमी विक्षोभ की वजह से जिले में बुधवार की रात हुई बैमौसम बरसात ने कोरोना काल में प्रशासन के सफाई व सैनिटाइजेशन के दावे की पोल खोल कर रख दी। ग्रामीण इलाकों में बारिश के बाद कीचड़ और गंदगी का साम्राज्य कायम हो गया है। इसकी बानगी देखनी हो तो पीडीडीयू नगर से सटी दुलहीपुर ग्राम पंचायत में आएं। यहां बारिश के बाद जगह-जगह घुटने भर पानी भर गया है। वहीं सड़क किनारे पड़े कचरे से निकलने वाली दुर्गंध ने ग्रामवासियों का जीना दुश्वार कर दिया है। उनकी मानें तो ग्राम पंचायत में कभी भी सफाई अथवा सैनिटाइजेशन अभियान नहीं चलाया गया।

गांवों में सिर्फ कोरम हो रहा पूरा 
जिले में कोरोना संक्रमण की दर फिलहाल 4.90 फीसद है। इसमें लगभग 3.30 फीसद संक्रमण गांवों में है। जबकि नगरीय इलाकों में संक्रमण की दर 1.70 फीसद के आसपास है। गांवों में संक्रमण रोकने के लिए जिला प्रशासन की ओर से अभियान चलाकर सफाई व सैनिटाइजेशन कराया जा रहा। हालांकि प्रशासन का फोकस नगरों में अधिक है। ग्रामीण इलाकों में कोरमपूर्ति की जा रही है। चूंकि शासन के निर्देश के क्रम में गांवों में सफाई कराकर फोटो अपलोड करनी है, इसलिए अधिकारी एक-दो गांवों में सफाईकर्मियों की टीम के साथ पहुंचकर फोटो खींचवाने के बाद कर्तव्यों की ईतीश्री कर ले रहे। इसलिए पीएम मोदी का स्वच्छ भारत मिशन गांवों में परवान नहीं चढ़ पा रहा।

दुलहीपुर में महमारियां दे रहीं दस्तक 
दुलहीपुर ग्राम पंचायत भी अधिकारियों की इसी उपेक्षा की शिकार है। इसका मलाल जाफर मेहदी हसन, अकबर अली, बच्ची शेख, विनय पटेल व जगदीश शर्मा समेत अन्य ग्रामीणों को है। उनकी मानें तो गांव में कभी सफाई नहीं कराई जाती। बताया कि बुधवार की रात बारिश के बाद बस्ती का पानी गलियों में व जगह-जगह नीचले इलाकों में भर गया है। वहीं कसाई बाड़े के पास कचरे का ढेर लगा हुआ है। इसकी कभी सफाई कराने की जहमत नहीं उठाई गई। कचरा बहकर जलनिकासी की नालियों में भर गया है। इससे नालियां चोक हो गई हैं। जब तक नालियों की सफाई नहीं कराई जाएगी, तब तक पानी निकलना मुश्किल है। 

आज तक नहीं हुई फागिंग और सेनेटाइज़ेशन 
वाराणसी-चंदौली मुख्य मार्ग पर स्थित इस ग्राम पंचायत से होकर नोडल अधिकारी एमएलसी एके शर्मा, कमिश्नर दीपक अग्रवाल, जिलाधिकारी चंदौली और सभी जनप्रतिनिधियों का बनारस आना-जाना होता है लेकिन पंचायती राज विभाग की ओर से हाल के दिनों में गांव में सफाई, सैनिटाइजेशन अथवा फांगिंग अभियान नहीं चलाया गया। इससे ऐसी स्थिति बनी हुई है। गंदगी की वजह से ग्रामीणों को अब संक्रामक बीमारियों के फैलने का खतरा सताने लगा है। 

ग्रामीणों की नहीं हुईं सैंपलिंग, न मिली कोविड मेडिसिन किट
ग्रामीणों ने बताया कि गांव में कोरोना को लेकर जागरूक करने के लिए स्वास्थ्यकर्मियों की टीम नहीं आई। ग्रामीणों की सैंपलिंग भी नहीं कराई गई और न ही कोविड मेडिसिन किट का वितरण किया गया। प्रशासन के उपेक्षात्मक रवैये के चलते गंभीर समस्या पैदा हो सकती है। डीपीआरओ ब्रह्मचारी दुबे का कहना रहा कि गांवों में नियमित सफाई अभियान चलाया जा रहा है। जिन ग्राम पंचायतों में अभी सफाई नहीं हुई है, वहां सफाईकर्मियों की टीम भेजकर सफाई कराई जाएगी। 

बारिश से सांसत में किसान
बारिश के पानी में किसानों के अरमान भी धुल गए। कई स्थानों पर खुले आसमान के नीचे रखा किसानों का अनाज भींग गया। हालांकि प्रशासन का दावा इससे इतर है। जिला खाद्य व विपणन अधिकारी अनूप कुमार श्रीवास्तव का कहना रहा कि केंद्रों पर अनाज को तिरपाल से ढंककर सुरक्षित रखा गया है। ऐसे में कहीं से भी नुकसान की सूचना नहीं मिली है। 

21 से 23 तक साफ रहेगा मौसम
मुख्यालय स्थित कृषि विज्ञान केंद्र के मौसम विज्ञानी कृष्णमुरारी पांडेय ने बताया कि गुरुवार की शाम तक दोबारा मौसम खराब होने की आशंका है। हालांकि 21 से 23 मई तक मौसम साफ रहेगा। 24 से 26 मई तक मौसम खराब होने की आशंका है। हालांकि इसके बारे में अभी स्पष्ट पूर्वानुमान एक-दो दिनों के अंदर जारी किया जाएगा।

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