देश और धर्म की रक्षा में साहेबजादों ने दिया प्राणों का बलिदान : दिलीप पटेल

 


-गुरु गोविन्द सिंह के साहेबजादों जोरावर सिंह एवं फतेह सिंह के बलिदान दिवस को भाजपा ने वीर बाल दिवस के रूप में मनाया

वाराणसी,26 दिसंबर(हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी की वाराणसी इकाई ने मंगलवार को सिख पंथ के दसवें गुरु गोविंद सिंह के साहेबजादों जोरावर सिंह एवं फतेह सिंह के बलिदान दिवस को वीर बाल दिवस के रूप में मनाया। इस अवसर पर आयोजित गोष्ठी में पार्टी के काशी क्षेत्र अध्यक्ष दिलीप पटेल ने कहा कि गुरु गोविंद सिंह के चारों पुत्र साहिबजादे जुझार सिंह, साहिबजादे अजित सिंह, साहिबजादे जोरावर सिंह व साहिबजादे फतेह सिंह ने मुगल शासकों के अत्याचारों का मुकाबला करते हुए खुद को बलिदान कर दिया। मुगल सल्तनत और मुस्लिम शासकों ने देश में इस्लाम थोपने का लालच दिया,जिसे न मानने पर गुरु के साहेबजादों पर अत्याचार किए गये।

पटेल ने कहा कि उस दौर में भी ज्ञान और तपस्या में तपे हुए हमारे गुरु थे, जहां एक ओर आतंक की पराकाष्ठा थी, तो वहीं दूसरी ओर अध्यात्म का शीर्ष था। जहां एक ओर लाखों की फौज थी, तो वहीं दूसरी ओर अकेले होकर भी निडर खड़े गुरु गोविंद सिंह के वीर साहिबजादे थे। गुरु गोबिंद सिंह के दो साहिबजादे जोरावर सिंह और साहिबजादा फतेह सिंह को वजीर खान ने दीवार में जिंदा चुनवा दिया था। ऐसा इसलिए किया गया क्योंकि औरंगजेब और उसके लोग गुरु गोविंद सिंह जी के साहिबजादों का धर्म तलवार के दम पर बदलना चाहते थे। लेकिन, भारत के वीर बेटे मौत से भी नहीं घबराये,वे दीवार में जिंदा चुन गये, लेकिन उन्होंने धार्मिक कट्टरता के मंसूबों को हमेशा के लिए दफन कर दिया।

क्षेत्रीय अध्यक्ष दिलीप पटेल ने कहा कि किसी भी राष्ट्र की पहचान उसके सिद्धांतों, मूल्यों और आदर्शों से होती है। हमने इतिहास में बार-बार ऐसा देखा है कि जब किसी राष्ट्र के मूल्य बदल जाते हैं, तो कुछ ही समय में उसका भविष्य भी बदल जाता है। ये मूल्य सुरक्षित तब रहते हैं, जब वर्तमान पीढ़ी के सामने अपने अतीत के आदर्श स्पष्ट होते हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्तमान पीढ़ी के आदर्श के रूप में गुरु गोबिंद सिंह जी के प्रकाश पर्व के अवसर पर 26 दिसंबर को दोनों साहिबजादों (साहिबजादा जोरावर सिंह और साहिबजादा फतेह सिंह) की शहादत को ‘वीर बाल दिवस’ के रूप में मनाने की घोषणा की थी। संगोष्ठी की अध्यक्षता एमएलसी एवं भाजपा जिलाध्यक्ष हंसराज विश्वकर्मा ने की। संचालन अश्विनी पांडेय और धन्यवाद ज्ञापन विनोद पटेल ने किया । गोष्ठी में जिला पंचायत अध्यक्ष पूनम मौर्या,अशोक चौरसिया, राजेश राजभर, संतोष सोलापुरकर, श्रीप्रकाश शुक्ला, संजय सोनकर, सुरेंद्र पटेल, प्रवीण सिंह गौतम आदि पदाधिकारी भी उपस्थित रहे।

हिन्दुस्थान समाचार/श्रीधर/सियाराम