कामदगिरि पर्वत के दर्शन मात्र से पूर्ण होती है मनोकामनाएं- आचार्य रामचंद्र दास

 


चित्रकूट, 29 सितम्बर (हि.स.)। पदम विभूषण से सम्मानित सनातन धर्म शिरोमणि श्रीतुलसी पीठाधीश्वर जगदगुरु स्वामी रामभद्राचार्य महाराज के निर्देश पर पूर्णिमा के उपलक्ष्य पर जगदगुरु के उत्तराधिकारी एवं तुलसी पीठ के युवराज आचार्य रामचन्द्र दास जी महाराज के नेतृत्व में सैकडों धर्मयोद्धाओं ने राष्ट्र मंगल की कामना को लेकर मनोकामनाओं के पूरक भगवान श्री कामता नाथ जी की परिक्रमा लगाई।

सम्पूर्ण विश्व में सनातन धर्म की पताका लहरा कर भगवान श्रीराम की तपोभूमि चित्रकूट को गौरवांन्वित करने वाले पदम विभूषण से सम्मानित धर्म शिरोमणि जगदगुरु स्वामी रामभद्राचार्य महाराज की प्ररेणा से उनके उत्तराधिकारी आचार्य रामचंद्र दास ने पूर्णिमा के उपलक्ष्य पर भगवान श्री कामतानाथ का पूजन-अर्चन के बाद प्राचीन मुखार बिंद के प्रधान पुजारी भरत शरण दास महाराज समेत दर्जनों संतों एवं सैकडों समर्थकों के साथ राष्ट्र कल्याण की कामना को लेकर रामधुन के साथ कामदगिरि पर्वत की पंचकोसीय परिक्रमा लगाई। इसके बाद कामदगिरि पर्वत की पंचकोसीय परिक्र्रमा लगाई। इसके बाद परिक्रमा में भाग लेने वाले सभी धर्म योद्धाओं ने तुलसी पीठ पहुंचकर खिचड़ी भोज किया। पूज्य आचार्य रामचन्द्र दास महाराज के आशीर्वचनों के बाद कार्यक्रम का समापन किया गया।

इस मौके पर आचार्य रामचंद्र दास महाराज ने कहा कि चित्रकूट विश्व प्रसिद्ध पौराणिक तीर्थ है। यह पावन भूमि भगवान श्रीराम की तपोभूमि होने के साथ-साथ ब्रम्हा,विष्णु और महेश त्रिदेवों की लीला भूमि रहीं हैं। बताया कि माता सती अनुसुईया के आश्रम में आज भी त्रिदेवों की लीला के साक्ष्य विद्यमान है।उन्होने कहा कि भगवान श्रीराम ने कामदगिरि पर्वत पर निवास किया था।प्रभु के वरदान से ही कामदगिरि पर्वत को मनोकामनाओं के पूरक होने का वरदान मिला है। रामचरित मानस में संत शिरोमणि गोस्वामी तुलसी दास ने पर्वत की महिमा का बखान करते हुए लिखा है कि ’कामद भे गिरि राम प्रसादा,अवलोकत अप हरत विषादा’ यानि कामदगिरि पर्वत के दर्शन करने मात्र से ही व्यक्ति के जीवन के सारे विषाद खत्म हो जायेगें। इसी वजह से देश भर से प्रतिदिन लाखों श्रद्धालु चित्रकूट पहुुंचकर मंदाकिनी नदी में आस्था की डुबकी लगाकर मनोकामनाओं की पूर्ति के लिए कामदगिरि पर्वत की परिक्रमा लगाते है।

इस कार्यक्रम में निमोही अखाडा के महंत दीनदयाल दास जी महाराज, बड़ा अखाड़ा खोही के महंत श्याम दास जी महाराज,महंत सीता शरण जी महाराज, गोपाल दास जी महाराज,बाबा हरिदास,ज्ञान दास, मुन्नाशास्त्री,वरिष्ठ भाजपा नेता जगदीश प्रसाद गौतम,वरिष्ठ पत्रकार रतन पटेल,हेमराज कश्यप,समाजसेवी ऋषि आर्या समेत कामतानाथ परिक्रमा समिति के सैकडों धर्म योद्धा शामिल रहे। आपको बता दे कि जगदगुरू स्वामी रामभद्राचार्य महाराज के उत्तराधिकारी आचार्य रामचंद्र दास महाराज के नेतृत्व में ऐसे ही धर्म योद्धाओं के साथ समाज और राष्ट्र की मंगल कामना को लेकर प्रत्येक पूर्णिमा पर मनोकामनाओं के पूरक भगवान कामदगिरि पर्वत की राम धुन के साथ परिक्रमा की जा रही है।

हिन्दुस्थान समाचार /रतन/बृजनंदन