जीडीए बोर्ड बैठक में 23 प्रस्ताव पास,हरनंदीपुरम योजना चढ़ेगी परवान
मधुबन बापूधाम योजना से प्रभावित किसानों को 15 साल बाद भूखंड मिलेगा
गाजियाबाद, 20 मई (हि.स.)। गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) की 169वीं बोर्ड बैठक मंगलवार को मेरठ में अध्यक्ष ऋषिकेश भास्कर यशोद की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। जिसमें शहर के विकास पर मंथन किया गया। बैठक में जीडीए की ओर से पिछली बोर्ड बैठक की कार्यवृत्ति के अनुपालन समेत 23 प्रस्ताव रखे गए, जो सभी पास हो गए।
हर नंदीपुरम योजना को लेकर बैठक में प्रस्ताव पर मोहर लग गई। जिसके बाद नई टाउनशिप हरनंदीपुरम योजना जल्द परवान चढ़ेगी।
मंगलवार को हुई बोर्ड बैठक में पांच गांव की जमीन खरीदने की दर को मंजूरी मिल गई है। इन गांव की कुल 336.8444 हेक्टेयर जमीन वहां के सर्किल रेट से चार गुना ज्यादा दर पर खरीदी जाएगी, जिसपर प्राधिकरण 2,384 करोड़ रुपये खर्च करेगा। साथ ही किसानों को दस फीसदी विकसित भूखंड दिए जाएंगे।
जीडीए सचिव राजेश कुमार सिंह ने बताया कि हरनंदीपुरम के लिए भूमि दरों पर निर्णय लेने के लिए डीएम की अध्यक्षता में समिति का गठन किया था, जो भूमि अधिग्रहण (पुनर्वास और पुनर्स्थापन) अधिनियम, 2013 के अनुसार, डीएम सर्किल दरों से चार गुना अधिक है। इसके लिए पिछले साल 18 सितंबर 2024 को जनपद के सर्किल रेट का जो पुनरीक्षण किया था, उसके हिसाब से मथुरापुर, शमशेर, चंपतनगर, भनेरा-खुर्द और नंगला फिरोज मोहनपुर गांव का सर्किल रेट देखा गया। अब इन सभी गांव की क्रय के लिए निजी काश्तकारों की प्रस्तावित जमीन पुनरीक्षित सर्किल रेट के चार गुना अधिक दर पर खरीदी जाएगी। वहीं, इन गांव की भूमि अधिग्रहण की अनुमानित लागत 2,384 रुपये आंकी गई है, जिसमें 7 फीसदी स्टांप ड्यूटी और 1 फीसदी पंजीकरण शुल्क शामिल है।
चार गुना अधिक दर से मुआवजा मिलेगा
चम्पत नगर का सर्किल रेट सबसे कम 1,010 रुपये प्रति वर्ग मीटर है। मथुरापुर गांव का सर्किल रेट 1020 रुपये प्रति वर्ग मीटर, भनेडा खुर्द गांव का सर्किल रेट 1,060 रुपये प्रति वर्ग, शमशेरा गांव का सर्किल रेट 1,690 रुपये प्रति वर्ग मीटर, नगला फिरोज मोहनपुर गांव का सर्किल रेट 1800 रुपये प्रति वर्ग मीटर है। इन सभी गांव की क्रय के लिए निजी काश्तकारों की प्रस्तावित जमीन पुनरीक्षित सर्किल रेट के चार गुना अधिक दर पर खरीदी जाएगी, जिसपर ढाई हजार करोड़ रुपये खर्च होंगे।
गांव के नाम-- प्रस्तावित जमीन (हेक्टेयर) --सर्किल रेट (प्रति वर्ग मीटर) -- निर्धारित दर (प्रति वर्ग मीटर)
मथुरापुर -- 14.6010 -- 1020 -- 4080
शमशेर -- 86.5427 -- 1690 -- 6760
चम्पत नगर -- 33.9863 -- 1010 -- 4040
भनेडा खुर्द -- 9.0630 -- 1060 -- 4240
नगला फिरोज मोहनपुर -- 192.6514 -- 1800 -- 7200
-मधुबन बापूधाम योजना से प्रभावित किसानों को 15 साल बाद भूखंड मिलेगा
इसमें 800 एकड़ और 281 एकड़ जमीन देने वाले 1063 किसान शामिल हैं।
जीडीए ने मधुबन बापूधाम योजना के लिए 800 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया। बची हुई 281 एकड़ जमीन के किसान सुप्रीम कोर्ट चले गए। साल 2016 में सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अंत में जीडीए ने नए भू अधिग्रहण कानून के तहत 281 एकड़ जमीन के किसानों को मुआवजा देते हुए जमीन का अधिग्रहण किया। अब जीडीए बोर्ड ने संशोधित लेआउट का प्रस्ताव पास कर दिया है। ऐसे में किसानों को विकसित भूखंड मिलेंगे। 800 एकड़ वाले किसानों को छह फीसदी विकसित भूखंड दिया जाएगा। जबकि 281 एकड़ वाले 301 किसानों को कोर्ट के आदेश के बाद 20 फीसदी विकसित भूखंड दिया जाएगा।
13 साल का इंतजार खत्म, भूखंड मिलेगा
मधुबन बापूधाम योजना में श्मशान से पास मिले भूखंड अब दूसरे स्थान पर मिलेगा। जीडीए बोर्ड बैठक में मानचित्र में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी मिल गई।
वर्ष 2011 में जीडीए ने मधुबन बापूधाम योजना के विभिन्न पॉकेट में करीब 1,863 भूखंडों की योजना निकालीं। इच्छुक खरीदारों ने फॉर्म भरें और उन्हें प्रक्रिया पूरी कर भूखंड आवंटन कर दिए। इसी दौरान करीब 373 आवंटियों को श्मशान और कब्रिस्तान के पास भूखंड आवंटित किए। करीब दो वर्ष पूर्व जीडीए के तत्कालीन उपाध्यक्ष ने इन्हें हस्तांतरण करने का आश्वासन देते हुए योजना तैयार कराई। फिर संपत्ति, अभियंत्रण व नियोजन अनुभागों ने इसकी योजना बनाई। इस योजना का पूरा लेआउट तैयार कर मंजूरी दे दी गई है। अब जल्द भूखंड मिलने का रास्ता साफ हो गया है।
बैठक में जीडीए उपाध्यक्ष अतुल वत्स, सचिव राजेश कुमार सिंह, अपर सचिव प्रदीप कुमार सिंह, प्रभारी मुख्य अभियंता मानवेंद्र सिंह आदि मौजूद रहे।
पत्रकारपुरम पर सहमति
प्राधिकरण बोर्ड के सम्मानित सदस्य पवन गोयल द्वारा हरनंदीपुरम योजना में पत्रकारपुरम के नाम से एक सेक्टर को योजना में शामिल करने की पेशकश की गयी जिससे पत्रकारों के हितों को ध्यान रखा जा सके, जिस पर प्राधिकरण बोर्ड द्वारा पत्रकारपुरम को योजना मे शामिल किये जाने पर विचार हेतु सहमति दी गयी।
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हिन्दुस्थान समाचार / फरमान अली