अलकनंदा नदी में डूबा पांच गांवों को जोड़ने वाला पुल
रुद्रप्रयाग, 26 जुलाई (हि.स.)। अलकनंदा नदी के बढ़ते जलस्तर से भरदार पट्टी के पांच गांवों को जोड़ने वाला पैदल पुल डूब गया है जिस कारण ग्रामीण अपने घरों में कैद होकर रह गए हैं। ग्रामीणों की आवाजाही का एक मात्र साधन यही पुल था। पुल के नदी में डूबने से शुक्रवार को स्कूली बच्चे भी स्कूल नहीं जा पाए। ग्रामीण जनता पानी कम होने का इंतजार कर रही है। फिलहाल, कोटली, बांसी, मोलदा, सेरा सहित अन्य गांवों का संपर्क जिले से कट गया है।
जिले में हो रही मूसलाधार बारिश के कारण जिले में भारी नुकसान हो रहा है। अलकनंदा नदी का जलस्तर लगातार बढ़ने के कारण ग्रामीण जनता की परेशानी भी बढ़ती जा रही हैं। अलकनंदा नदी का जलस्तर बढ़ने से भरदार पट्टी के कोटली, बांसी, मोलदा, सेरा सहित अन्य गांवों का संपर्क जिला मुख्यालय से कट गया है। ये गांव आज भी सड़क मार्ग से नहीं जुड़ पाए और पैदल आवाजाही का एकमात्र साधन पुल भी फिलहाल नदी में समा गया है। ग्रामीण अब बाजार से भी आवश्यक सामान नहीं ले पा रहे हैं। इसके अलावा स्कूली बच्चों ने भी शुक्रवार की छुट्टी कर दी। ग्रामीण सुबह से ही नदी किनारे बैठकर पानी कम होने का इंतजार करते रहे, लेकिन दोपहर तक भी नदी का पानी कम नहीं हो पाया।
बताया जा रहा है कि पुल के नदी में डूबने का मुख्य कारण कुछ दूरी पर श्रीनगर स्थित जीवीके कंपनी की झील है। झील का जल स्तर बढ़ने से यह पुल भी नदी में डूब गया है। इस पुल के निकट ही ग्रामीणों का प्राचीन शिव मंदिर का आधा हिस्सा और मंदिर में जाने वाला पुल भी अलकनंदा नदी में डूब गया है।
मल्यासू गांव के ग्रामीण रघुवीर सिंह ने बताया कि श्रीनगर जल बिजली परियोजना की झील से भरदार पट्टी के पांच गांव परेशानी झेल रहे हैं। पुल के डूबने से पांच गांवों के ग्रामीण घरो में कैद हैं, जबकि स्कूली बच्चों का भविष्य भी चौपट हो गया है।
हिन्दुस्थान समाचार / Rohit Dimri / सत्यवान / वीरेन्द्र सिंह