राजस्थान कैबिनेट बैठक : गहलोत सरकार में बना गांधी वाटिका न्यास भंग, कोटा में बनेगा ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट
जयपुर, 2 जुलाई (हि.स.)। भजनलाल सरकार की साढ़े तीन महीने बाद मंगलवार को हुई कैबिनेट बैठक में कई बड़े फैसले किए गए। गहलोत सरकार में बनाए गए गांधी वाटिका न्यास को भंग कर दिया गया है। गांधी वाटिका का संचालन होता रहेगा। कोटा में ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट बनेगा। इसे लेकर अगस्त में एमओयू किया जाएगा। प्रदेश के तीन जिलों भीलवाड़ा, किशनगढ़ और झालावाड़ में फ्लाइंग स्कूल खोले जाएंगे। राजस्थान के कुछ एयरपोर्ट पर कार्गो फैसिलिटी भी शुरू होगी। बिजली में दो लाख करोड़ के एमओयू किए जाएंगे।
कैबिनेट बैठक के बाद मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़ और मंत्री जोगाराम पटेल ने बताया कि पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के मुलाकात के समय गांधी वाटिका को जनता के लिए जल्द शुरू करने की मांग की थी। हम जल्द ही गांधी वाटिका को शुरू करेंगे। इसके संचालन के लिए जो न्यास बनाया गया था, उसमें कई खामियां थीं। न्यास में अध्यक्ष के होते हुए भी उपाध्यक्ष को असीमित शक्तियां दे दी गई थी। एक व्यक्ति को सरकारी जमीन बेचने के अधिकार कैसे दिए जा सकते हैं। ऐसे में कैबिनेट ने इसे रद्द करने का फैसला किया है।
इससे पूर्व कैबिनेट मीटिंग में कृषि मंत्री डॉ किरोड़ीलाल मीणा नहीं पहुंचे थे। सीएम भजनलाल शर्मा की अध्यक्षता में हुई बैठक में उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी और मंत्री किरोड़ीलाल मीणा नहीं पहुंचे। दीया कुमारी अपनी माताजी के इलाज के लिए मुंबई में हैं। वे मुंबई से ही वीसी के जरिए बैठक में जुड़ी हैं। वहीं किरोड़ीलाल मीणा दिल्ली दौरे के चलते बैठक में शामिल नहीं हुए। इसके अलावा सभी मंत्री बैठक में मौजूद रहे। मीटिंग में कल से शुरू हो रहे बजट सत्र की तैयारियों को लेकर चर्चा की गई।
विधानसभा में रखे जाने वाले बिल और प्रतिवेदन पर कैबिनेट की अप्रूवल भी ली गई। सीएमओ में हुई बैठक में मंत्रियों की विभाग से संबंधित सवालों के जवाब प्रभावी रूप से रखने पर भी चर्चा की गई। पिछले विधानसभा सत्र में विपक्ष के सवालों में कई मंत्री उलझते हुए नजर आए थे। इससे विपक्ष को सदन में सरकार पर हमला बोलने का एक ओर मौका मिल गया था। बजट सत्र की तैयारियों को लेकर मंत्री अविनाश गहलोत ने कहा कि उन्होंने कहा कि हम विपक्ष के हर सवाल का जवाब देने के लिए और राजस्थान की जनता कल्याण के लिए पूरी तरह से तैयार हैं।
इस सत्र में विपक्ष सरकार को महंगाई, बेरोजगारी,पेपरलीक और बिज़ली-पानी की समस्याओं पर घेरने की तैयारी कर रहा है। ऐसे में विधायक दल की बैठक में विधायकों को पिछली कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में हुई पेपरलीक की घटनाओं, किसान आत्महत्या और अन्य घटनाओं से अवगत कराया जाएगा। जिससे वो विपक्ष पर हमलावर हो सकें। भजनलाल सरकार के सात माह के कार्यकाल में हुए कार्यों को भी सदन में पुरजोर तरीके से रखने की रणनीति पर भी बैठक में चर्चा की जाएगी।
हिन्दुस्थान समाचार/रोहित/ईश्वर