सांसद रावत ने मानगढ़ धाम को राष्ट्रीय स्मारक बनाने की मांग संसद में रखी

 
सांसद रावत ने मानगढ़ धाम को राष्ट्रीय स्मारक बनाने की मांग संसद में रखी


सांसद रावत ने मानगढ़ धाम को राष्ट्रीय स्मारक बनाने की मांग संसद में रखी


उदयपुर, 17 मार्च (हि.स.)।

सांसद मन्नालाल रावत ने सोमवार को संसद में मानगढ़ धाम को राष्ट्रीय स्मारक घोषित करने की मांग उठाई। डॉ रावत ने नियम 377 के अंतर्गत संसद में कहा कि बीसवीं सदी के आरंभ में स्वाधीनता संग्राम के दौरान गोविंद गुरु जी के नेतृत्व में राजस्थान, गुजरात और मध्यप्रदेश के भील समुदाय ने मानगढ़ धाम में क्रांतिकारी आंदोलन किया था। वर्ष 1913 में अंग्रेजों ने गोविंद गुरु जी के नेतृत्व में एकत्रित हुए भील समाज के 1507 सनातनी भक्तों को गोलियों से भून दिया और गुरु जी को आजीवन कारावास की सजा दी गई।

सांसद ने बताया कि यह स्थल न केवल बलिदान और संघर्ष का प्रतीक है, बल्कि भारत की राष्ट्रीय चेतना व ज्ञान परंपरा से भी जुड़ा हुआ है। डॉ रावत ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इस स्थल पर दर्शन कर इसे राष्ट्रीय स्मारक बनाने का भाव व्यक्त कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि इस क्रांतिकारी संघर्ष और बलिदान को चिरस्थायी स्मृति देने के लिए मानगढ़ धाम को राष्ट्रीय स्मारक घोषित किया जाना चाहिए। सांसद ने आजादी के अमृत काल में इस मांग पर केंद्र सरकार से सकारात्मक निर्णय लेने का आग्रह किया।

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हिन्दुस्थान समाचार / सुनीता