नन्हे कलाकार फेस्टिवल का भव्य उद्घाटन: दिखा कला संगीत और संस्कृति का संगम

 


जयपुर, 24 दिसंबर (हि.स.)। गुलाबी नगरी जयपुर एक बार फिर रंगों और रचनात्मकता से सराबोर हो उठी। जब होटल क्लार्क्स आमेर में नन्हे कलाकार फेस्टिवल 2025 का भव्य उद्घाटन हुआ। अभ्युत्थानम वेलफेयर फाउंडेशन द्वारा आयोजित इस दो दिवसीय फेस्टिवल के पहले दिन बुधवार को जयपुर में कला, संगीत, लोक परंपरा और पारिवारिक मनोरंजन का एक अनूठा संगम देखने को मिला। इस साल फेस्टिवल का थीम ‘हम सबका फेस्टिवल’ को सार्थक करते हुए फेस्ट की शुरुआत कलरफुल पचरंगा परेड से हुई, जो केवल लोक-संस्कृति का उत्सव ही नहीं, बल्कि इन्क्लूसिविटी, विविधता और एकता का सशक्त प्रतीक बनकर पूरे आयोजन की भावना को दर्शाती नज़र आई। आयोजन के मुख्य अतिथि के रूप में युवा मामलात एवं खेल विभाग के शासन सचिव नीरज के पवन उपस्थित रहे।

इस अवसर पर नीरज के पवन ने कहा कि नन्हे कलाकार फेस्टिवल का उद्देश्य कला और समाज को जोड़ना है। पहले दिन का उत्साह और लोगों की भागीदारी हमारे विज़न को मजबूती देती है कि कला हर उम्र के लोगों को जोड़ने का सबसे सुंदर माध्यम है। अभ्युत्थानम वेलफेयर सोसाइटी की डायरेक्टर रिद्धि चंद्रावत ने कहा, नन्हे कलाकार फेस्टिवल सिर्फ़ एक उत्सव नहीं, बल्कि स्पेशली एबल्ड बच्चों के लिए फंड रेज़िंग की एक संवेदनशील पहल है। कला और संगीत के ज़रिए हम समाज को जोड़ते हुए उनके बेहतर भविष्य के लिए सहयोग जुटा रहे हैं।

फेस्ट के पहले दिन मंदीप और हर्ष के बैंड कुर्जल द्वारा प्रस्तुत जेमिंग सेशन ने संगीत प्रेमियों को सुरों की दुनिया में डुबो दिया। कलाकारों की इस लाइव म्यूज़िकल जुगलबंदी ने फेस्टिवल के माहौल को जीवंत और ऊर्जा से भर दिया। इसी कड़ी में काेगता फाउंडेशन के इनिशिएटिव ‘ग्लोबल हेल्थ हैप्पीनेस फेस्टिवल’ के सहयोग से आयोजित जयपुर की पहली बेबी रेव ने लोगों को आकर्षित किया। बच्चों की यह रेव पार्टी ‘एक्ट टू एक्शन’ संस्था द्वारा क्यूरेट की गई, जहां छोटे बच्चों से लेकर माता-पिता और दादा-दादी तक सभी ने म्यूज़िक और डांस का आनंद लिया। यह सेशन परिवारों और बच्चों के लिए फेस्टिवल का सबसे खुशहाल और रंगीन अनुभव बनकर उभरा।

फेस्ट के पहले दिन की शाम कबीर कैफे की ‘मत कर माया का अहंकार’, ‘क्या लेके आया है’ ‘दो दिन का है मेला’ गानों की सोलफुल परफॉर्मेंस ने कबीर के दोहों और आधुनिक संगीत का भावनात्मक संगम रचा। दर्शक कबीर के शब्दों और संगीत की गहराई में पूरी तरह डूबते नज़र आए। रात को टेक्सटाइल वॉक में राजस्थान की समृद्ध टेक्सटाइल हेरिटेज को एआई और मॉडर्न टेक्नोलॉजी के साथ एक नए अंदाज़ में प्रस्तुत किया गया।

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हिन्दुस्थान समाचार / दिनेश