अखिल विश्व गायत्री परिवार तेरह रथों से प्रदेश के 45 हजार गांवों में जगाएंगे विचार क्रांति की अलख
जयपुर, 30 जुलाई (हि.स.)। अखिल विश्व गायत्री परिवार की ओर से राजस्थान प्रदेश के 45 हजार गांवों में विचार क्रान्ति का संदेश देने के लिए इसी साल सितंबर माह से 2026 तक शक्ति कलश यात्रा निकाली जाएगी। शांतिकुंज हरिद्वार से 13 रथ सितंबर माह के प्रथम सप्ताह में पुष्कर आएंगे, फिर अलग अलग जिलों के लिए रवाना होंगे। इस आशय का निर्णय मंगलवार को गायत्री शक्ति पीठ ब्रह्मपुरी में आयोजित जयपुर उप जोन की बैठक में लिया गया। संगोष्ठी में जयपुर, टोंक ,सीकर, नीमकाथाना जिलों से 300 से अधिक गायत्री परिजन शामिल हुए।
जिला समन्वयकों ने अपने जिले में शक्ति कलश यात्रा से जुड़ी तैयारी से अवगत कराया। मुख्य अतिथि शांतिकुंज हरिद्वार से आए गौरी शंकर सैनी ने कहा कि जहां हम नहीं पहुंच पाए वहां ज्योति कलश पहुंचेगा। यात्रा के माध्यम से जन जन तक गुरु सत्ता के विचारों को पहुंचा सकते हैं। यह बड़ी योजना है इसलिए बड़ा सोचना होगा। लक्ष्य तय कर योजना बनाना है और उसे क्रियान्वयन करना है। योजनाबद्ध तरीके से काम करेंगे तो अवश्य सफल होंगे। उन्होंने कहा कि एक लाख राम और एक लाख कृष्ण तब तक आपका भला नहीं कर सकते जब तक खुद को बदलने के लिए तैयार नहीं होते। जब निराशा का भाव आए तो प्रेरक साहित्य पढ़े। आदमी गलती करता है तो उसे नजरअंदाज करें , खुद की कमी देखें और ठीक करें। कमियों को डायरी में नोट करने की आदत डाले। सभी को अपनी कमियों पर गौर करने का सतत अभ्यास करना चाहिए। सामने वाले की बुराई नहीं अच्छाई देखनी चाहिए। प्यार से बुराई सुधारी जा सकती है। डांट से कोई किसी को नहीं सुधार सकते। उन्होंने गायत्री परिवार प्रमुख शैलबाला पंड्या के संदेश परस्पर आदर भाव रखें, अपनी भूल को स्वीकार करें, आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप नहीं करें को गायत्री परिजनों के समक्ष रखा। हम सभी भाई बहन हैं कोई बड़ा छोटा नहीं है। सद्कर्मों की अंदर से हुक उठे तो भगवान भी मदद करने के लिए तैयार रहते हैं। विशिष्ट शांति कुंज से आए अतिथि मोहन लाल गौतम ने कहा कि जीवन में सौभाग्य आते रहे हैं और आते रहेंगे। लाभ तभी होगा जब उन्हें जीवन में उतारे। संगोष्ठी को गायत्री परिवार राजस्थान के समन्वयक ओमप्रकाश अग्रवाल, जयपुर उप जोन समन्वयक सुशील कुमार शर्मा, वरिष्ठ कार्यकर्ता सतीश भाटी, डॉ प्रशांत भारद्वाज ने भी संबोधित किया। प्रारंभ में गायत्री शक्तिपीठ ब्रह्मपुरी के व्यवस्थापक सोहनलाल शर्मा, सह व्यवस्थापक मणि शंकर चौधरी, केदार शर्मा, धर्म सिंह राजावत, संतोष गुप्ता , रणवीर चौधरी, भैरूलाल जाट एवं अन्य ने वरिष्ठ प्रतिनिधियों का दुपट्टा पहना कर स्वागत किया। गायत्री कचोलिया, दिनेश आचार्य ने प्रज्ञा गीतों की प्रस्तुतियां दी।
हिन्दुस्थान समाचार / दिनेश / संदीप