गहलोत सरकार की योजना में बदलाव : 300 बच्चे हर साल विदेश में और 200 छात्र देश के नामी संस्थानों में फ्री पढ़ेंगे
जयपुर, 5 जुलाई (हि.स.)। राजस्थान की भजनलाल सरकार ने विवेकानंद स्कॉलरशिप फॉर एकेडमिक एक्सीलेंस योजना के नियमों में भी संशोधन किया है। इसके बाद विवेकानंद स्कॉलरशिप फॉर एकेडमिक एक्सीलेंस योजना के तहत 300 विद्यार्थियों को विदेश में और 200 छात्रों को देश के ही नामी संस्थानों में पढ़ने भेजा जाएगा।
उप मुख्यमंत्री और उच्च शिक्षा मंत्री डॉ प्रेम बैरवा ने कोटा ओपन यूनिवर्सिटी में बताया कि विवेकानंद स्कॉलरशिप फॉर एकेडमिक एक्सीलेंस योजना का रिव्यू करने के बाद सरकार ने इसमें आंशिक संशोधन करने का फैसला किया है। इसके तहत अब 300 छात्रों को ही विदेश में पढ़ने भेजा जाएगा, जबकि 200 छात्र को देश के ही नामी संस्थान में पढ़ाया जाएगा। बैरवा ने कहा कि भारत के शैक्षणिक संस्थान दुनिया में सर्वश्रेष्ठ है। यहां की टेक्निकल और हायर एजुकेशन सर्वश्रेष्ठ है। इसलिए सरकार ने इस योजना में संशोधन करने का फैसला किया है।
बैरवा ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से विवेकानंद स्कॉलरशिप योजना को बंद करने को लेकर कयास लगाए जा रहे थे, लेकिन सरकार इस योजना को बंद नहीं करने जा रही है। बल्कि, हम इस स्कॉलरशिप योजना को और बेहतर बनाने के लिए काम कर रहे हैं, ताकि गांव और ढाणी में रहने वाले जरूरतमंद छात्र भी अच्छी और बेहतर एजुकेशन फ्री में हासिल कर सकें। इस दौरान उन्होंने रैंकिंग नियम में संशोधन को लेकर अभिभावकों द्वारा किए जा रहे विरोध पर भी अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि अगर किसी अभिभावक द्वारा तथ्यों के साथ मुझ तक इस तरह की शिकायत पहुंचाई जाएगी। इस पर भी जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
हिन्दुस्थान समाचार/रोहित/ईश्वर