भोपालः सात माह के मासूम को घसीटकर ले गए कुत्ते, लहूलुहान हालत में मिला शव
भोपाल, 12 जनवरी (हि.स.)। राजधानी भोपाल में एक दिल दहलाने वाला मामला सामने आया है। यहां एक सात माह के मासूम को कुत्तों ने मार डाला। बच्चे को कुत्ते घसीटकर ले गए। उसका एक हाथ पूरा खा गए। बच्चे के सिर और पेट समेत पूरे शरीर पर काटने के निशान थे। परिजन बच्चे को तलाश रहे थे। लहूलुहान हालत में उसका शव मिला। घटना गुरुवार की है। पुलिस ने शुक्रवार देर शाम प्रकरण दर्ज कर मामले की जांच शुरू की।
घटना शहर के अयोध्या बायपास स्थित मीनाल रेसीडेंसी के गेट नंबर पांच के पास की है। यहां शिव नगर बस्ती के पास रहने वाली महिला सात माह के बच्चे को सोता हुआ छोड़कर कुछ देर के लिए बाहर गई थी, तभी आवारा कुत्ते बच्चे को घर से उसे घसीटकर ले गए और उसे नोंच कर मार डाला, जिससे उसकी मौत हो गई।
क्षेत्र के एसीपी अक्षय चौधरी ने बताया कि मूलत: गुना जिले का एक मजदूर महेंद्र वाल्मीकि अपने परिवार के साथ छावनी पठार बिलखिरिया में रहता है। इन दिनों महेंद्र व उसकी पत्नी मिनाल रेसीडेंसी इलाके के गेट नंबर पांच के पास साफ-सफाई का काम करते हैं। गुरुवार सुबह करीब 10 बजे मां ने बच्चे को दूध पिलाने के बाद जमीन पर लिटा दिया। कुछ देर बाद देखा तो बच्चा गायब था। इसी दौरान बच्चे को उसके घर से कुत्ते घसीटकर ले गए। मां जब वापस आई तो बच्चे को न देख चौंकी तथा तुरंत ही अपने पति को घर बुला लिया। इसके बाद मोहल्ले के लोगों ने बच्चे की तलाश शुरू कर दी। थोड़ी ही दूरी पर बच्चा तो मिल गया लेकिन उसकी मौत हो चुकी थी। उसके शरीर पर नोंचने के निशान थे। कुत्ते उसका एक हाथ पूरी तरह से खा गए थे। मासूम को कुत्तों ने जब मार डाला तब नगर निगम की टीम को सूचना दी गई। शुक्रवार को नगर निगम की टीम कुत्ते पकड़ने पहुंचीं तब यहां लोगों ने जमकर हंगामा किया।
बच्चे की मौत के बाद उसके माता-पिता सदमे में थे, साथ ही डरे हुए भी। इसलिए उन्होंने किसी कुछ भी बताए बगैर बच्चे के शव को दफना दिया। अब अयोध्या नगर थाना प्रभारी महेश लिल्हारे का कहना है कि बच्चे के माता-पिता शोकाकुल हैं। इसलिए उन्होंने अभी यह नहीं बताया है कि बच्चे को कहां पर दफनाया है। उनके बयान लेने के बाद शनिवार को शव को निकाला जाएगा तथा उसका पोस्टमार्टम कराया जाएगा। पोस्टमार्टम रिपोर्ट से ही यह पता चल सकेगा कि बच्चे की मौत कुत्तों के काटने से हुई है या फिर किसी और वजह से।
इस पूरे मामले में पुलिस पर गंभीरता न बरतकर लीपापोती के आरोप भी लग रहे हैं। बताया जा रहा है कि लोगों ने इस घटना की सूचना पुलिस को दी थी। इसके बाद पुलिस को परिजनों ने शपथ पत्र देकर पोस्टमॉर्टम कराने से इनकार कर दिया। इसके बाद पुलिस ने कुछ भी नहीं किया। शुक्रवार को जब सोशल मीडिया पर यह मामला वायरल हुआ तब शुक्रवार शाम सवा सात बजे पुलिस ने मर्ग कायम कर जांच शुरू की।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश