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भोपाल, 30 जुलाई (हि.स.)। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव आज (बुधवार को) आयोजित समाधान ऑनलाइन कार्यक्रम में वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से विभिन्न जिलों के आवेदकों के प्रकरणों की सुनवाई करेंगे। कार्यक्रम शाम 4 बजे आरंभ होगा। कार्यक्रम में सीएम हैल्पलाइन के लंबित प्रकरणों, लोक सेवा गारंटी अधिनियम के अंतर्गत दी जा रही सेवाओं एवं समाधान एक दिवस के विषयों तथा 100 दिवस से अधिक लंबित शिकायतों की समीक्षा की जाएगी।
कार्यक्रम में कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों से फीडबैक लिया जाएगा, ताकि नागरिकों की समस्याओं का त्वरित समाधान किया जा सके। समाधान ऑनलाइन कार्यक्रम की प्रमुख विशेषता यह है कि इसमें नागरिक अपनी शिकायतें ऑनलाइन दर्ज कर सकते हैं और मुख्यमंत्री स्वयं उन शिकायतों का समाधान करने के लिए अधिकारियों से फीडबैक लेते हैं।
मुख्यमंत्री ने यह स्पष्ट किया कि यदि किसी अधिकारी ने शिकायतों के निराकरण में देरी की, तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। यह कदम सरकारी अधिकारियों की जवाबदेही सुनिश्चित करने और नागरिकों की समस्याओं का त्वरित समाधान करने के लिए उठाया गया है। कलेक्टरों को अपने जिलों में लंबित मामलों को तुरंत निपटाने के लिए निर्देशित किया गया है।
जनसम्पर्क अधिकारी एसपी शुक्ल ने बताया कि मुख्यमंत्री डॉ. यादव समाधान ऑनलाइन कार्यक्रम में इस बार गृह विभाग अंतर्गत विवेचना में विलंब व लापरवाही करने, समय से प्रकरण में न्यायालय में प्रस्तुत नहीं करने, किसी पक्ष से मिलकर दबाव में सही कार्यवाही अथवा विवेचना न करने संबंधी प्रकरणों की समीक्षा करेंगे।
इसके अलावा मुख्यमंत्री डॉ. यादव लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग अंतर्गत हेण्डपम्प के रखरखाव, मरम्मत एवं विशेष खराबी का निराकरण न होने संबंधी, श्रम विभाग अंतर्गत मध्यप्रदेश असंगठित शहरी व ग्रामीरण कर्मकार कल्याण मण्डल संबल योजना के प्रकणों, राजस्व विभाग के भूमि के सीमांकन संबंधी, ऊर्जा विभाग अंतर्गत बिल में गड़बड़ी संबंधी शिकायतों की समीक्षा करेंगे।
साथ ही वे कुटीर एवं ग्रामोद्योग अंतर्गत प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना से संबंधित प्रकणों, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग अंतर्गत मेडिकल कॉलेज में प्रसूति सहायता योजनार्न्तगत न्यूनतम राशि न मिलने संबंधी प्रकरणों, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग अंतर्गत सरपंच, सचिव, रोजगार सहायक व अन्य द्वारा योजना का लाभ दिये जाने हेतु अनुचित राशि की मांग संबंधी प्रकरणों तथा अनुसूचित जाति कल्याण विभाग अंतर्गत शिष्यवृत्ति अथवा छात्रवृत्ति संबंधी प्रकरणों की समीक्षा करेंगे।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर