मप्रः अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर उपचुनाव की तारीख घोषित, 10 जुलाई को मतदान
भोपाल, 10 जून (हि.स.)। मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले की अमरवाड़ा विधानसभा सीट के लिए उपचुनाव की तारीख का ऐलान हो गया है। यहां 10 जुलाई को मतदान और 13 जुलाई को मतगणना होगी। कांग्रेस विधायक कमलेश शाह के इस्तीफे के बाद यह सीट खाली हुई थी। कांग्रेस विधायक कमलेश शाह लोकसभा चुनाव के दौरान पार्टी छोड़ कर भाजपा में शामिल हो गए थे। इसके बाद मप्र विधानसभा ने भी 29 मार्च को उनका इस्तीफा मंजूर कर लिया था।
निर्वाचन आयोग ने सोमवार को सात राज्यों की 13 विधानसभा सीटों के लिए उपचुनाव का कार्यक्रम घोषित किया है। इनमें मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले की अमरवाड़ा सीट भी शामिल है। यहां 14 जून को चुनाव की अधिसूचना जारी होने के साथ नाम निर्देशन पत्र दाखिल करने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। इच्छुक उम्मीदवार यहां 21 जून तक अपने नामांकन दाखिल कर सकेंगे। नामांकन पत्रों की संवीक्षा 24 जून को होगी और 26 जून तक नाम वापस लिए जा सकेंगे। यहां 10 जुलाई को मतदान होगा और 13 जुलाई को मतगणना होगी। उपचुनाव की तीराख का ऐलान होने के साथ ही संबंधित जिले में आदर्श आचार संहिता लागू हो गई है।
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव के समय अमरवाड़ा सीट से कांग्रेस विधायक कमलेश शाह ने विधानसभा की सदस्यता से त्यागपत्र देकर भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली थी। त्यागपत्र स्वीकार कर विधानसभा सचिवालय ने सीट रिक्त होने की सूचना चुनाव आयोग को भेजी थी। आयोग ने अन्य प्रदेश की सीटों के साथ अमरवाड़ा सीट पर भी उपचुनाव कराने का निर्णय लिया है। विशेष पुनरीक्षण अभियान में तैयार मतदाता सूची से चुनाव कराया जाएगा।
मप्र से एक राज्यसभा और तीन अन्य विधानसभा सीटों पर भी होना है उपचुनाव
पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के केंद्रीय मंत्रिमंडल में शपथ लेने के बाद अब बुधनी विधानसभा सीट के लिए भी उपचुनाव होना तय है। सांसद निर्वाचित होने के बाद केंद्रीय मंत्री बने शिवराज विधायक के पद से इस्तीफा देंगे। इसके बाद यह विधानसभा सीट रिक्त हो जाएगी। इसके अलावा ज्योतिरादित्य सिंधिया गुना सीट से लोकसभा पहुंचे हैं और केन्द्र में दोबारा मंत्री बनाए गए हैं। वे अब राज्यसभा सांसद पद से इस्तीफा देंगे। इसके बाद मध्य प्रदेश से राज्यसभा की भी एक सीट खाली हो जाएगी।
वहीं, विजयपुर से कांग्रेस विधायक रामनिवास रावत 30 अप्रैल को सार्वजनिक तौर पर भाजपा में शामिल हो गए थे। इसी तरह बीना विधायक निर्मला सप्रे भी लोकसभा चुनाव के दौरान चुनावी सभा में भाजपा में शामिल हो चुकी हैं। इन दोनों ही विधायकों ने अभी इस्तीफा नहीं दिया है। बताया जाता है कि कांग्रेस दोनों ही विधायकों का इस्तीफा कराने के लिए नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार के माध्यम से विधानसभा के एक जुलाई से शुरू होने वाले सत्र के दौरान विधानसभा अध्यक्ष से शिकायत करने की तैयारी कर रही है। इसके बाद इनकी सदस्यता को लेकर अंतिम स्थिति साफ होगी। अगर ये दो सीटें भी रिक्त होती हैं तो मप्र से विधानसभा की तीन और राज्यसभा की एक सीट पर उपचुनाव होगा।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश/संजीव