आदिवासी किशोरी की दुष्कर्म के बाद हत्या मामले में कोई गिरफ्तार नहीं, सीडब्ल्यूसी ने लिया संज्ञान
पलामू, 7 जून (हि.स.)। जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र की रहने वाली 13 साल की आदिवासी किशोरी की दुष्कर्म के बाद हत्या मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है। इस बीच सीडब्ल्यूसी पलामू ने मामले में संज्ञान ले लिया है। रामगढ़ थाना पुलिस से रिपोर्ट मांगी है। बतातें चलें कि 13 वर्षीय आदिम जनजाति लड़की की बिहार के सासाराम में दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी गई थी। 3 जून को उसका शव गांव लाकर दफना दिया गया था। मां की शिकायत पर 6 जून को कब्र से किशोरी के शव को बाहर निकाला गया। साथ ही शव को पोस्टमार्टम के लिए रांची रिम्स में भेज दिया था।
आदिम जनजाति लड़की मानव तस्करी का शिकार हुई थी। आठ महीने पहले नाबालिग को बिहार के रोहतास जिले के शिवसागर थाना क्षेत्र के सोबा के एक ईंट भट्ठा में काम करने के लिए गांव का एक ठेकेदार ले गया था। नाबालिग के पिता की मौत हो गई थी, जबकि मां ने दूसरी शादी कर ली थी। तीन जून को नाबालिग का शव लेकर ठेकेदार और कुछ लोग गांव में पहुंचे थे। सभी ने ग्रामीणों को बताया कि उसकी लू लगने से मौत हो गई है। ठेकेदार ने अन्य लोगों के सहयोग से शव को दफना दिया था।
पूरे मामले की जानकारी होने पर पीड़िता की मां ने इस संबंध में रामगढ़ थाना को आवेदिन दिया था। मां ने पुलिस को बताया कि लड़की की दुष्कर्म के बाद हत्या की गई है। पुलिस ने पूरे मामले में कार्रवाई करते हुए आरोपी ठेकेदार नरेश कोरवा और ईंट भट्ठा संचालक उमा सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। पीड़िता के शव को दंडाधिकारी की मौजूदगी में कब्र से बाहर निकाला गया था। एमएमसीएच से पोस्टमार्टम के लिए शव को रिम्स रेफर कर दिया था।
हिन्दुस्थान समाचार/दिलीप