जम्मू-कश्मीर के सात जिले बुधवार को 10 साल में पहली बार विधानसभा चुनाव में मतदान करेंगे
जम्मू, 17 सितंबर (हि.स.)। पीर पंजाल पर्वत श्रृंखला के दोनों ओर स्थित जम्मू और कश्मीर के सात जिले 10 साल में पहली बार विधानसभा चुनाव में मतदान करेंगे क्योंकि बुधवार को केंद्र शासित प्रदेश में पहले चरण के मतदान के लिए मंच तैयार है।
23 लाख से अधिक मतदाता 219 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला करेंगे जिनमें 90 निर्दलीय उम्मीदवार शामिल हैं, जो 24 विधानसभा क्षेत्रों के लिए चुनाव लड़ रहे हैं। जम्मू क्षेत्र के तीन जिलों में आठ और कश्मीर घाटी के चार जिलों में 16 विधानसभा क्षेत्र हैं।
अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद से जम्मू और कश्मीर में यह पहला विधानसभा चुनाव होगा।
चुनाव आयोग (ईसी) के अनुसार पहले चरण में कुल 23,27,580 मतदाता मतदान करने के पात्र हैं जिनमें 11,76,462 पुरुष, 11,51,058 महिला और 60 थर्ड-जेंडर मतदाता शामिल हैं।
चुनाव आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि 18 से 19 वर्ष की आयु के 1.23 लाख युवा, 28,309 दिव्यांग और 85 वर्ष से अधिक आयु के 15,774 बुजुर्ग मतदाता भी पहले चरण में अपने मताधिकार का प्रयोग करने के पात्र हैं। अधिकारी ने बताया कि कुल 14,000 मतदान कर्मचारी 3,276 मतदान केंद्रों पर प्रक्रिया की देखरेख करेंगे ताकि मतदान सुचारू रूप से हो सके। उन्होंने बताया कि 302 शहरी मतदान केंद्र और 2,974 ग्रामीण मतदान केंद्र हैं। प्रत्येक मतदान केंद्र पर पीठासीन अधिकारी सहित चार चुनाव कर्मचारी तैनात रहेंगे। कुल मिलाकर पहले चरण के चुनाव के लिए 14,000 से अधिक मतदान कर्मचारियों को ड्यूटी पर तैनात किया जाएगा।
पहले चरण के लिए खड़े कश्मीर में प्रमुख उम्मीदवारों में सीपीआई (एम) के मोहम्मद यूसुफ तारिगामी, एआईसीसी महासचिव गुलाम अहमद मीर, नेशनल कॉन्फ्रेंस की सकीना इटू और पीडीपी के सरताज मदनी और अब्दुल रहमान वीरी शामिल हैं। बिजबिहडा से चुनाव लड़ रही पीडीपी की इल्तिजा मुफ्ती, एनसी के बशीर अहमद वीरी और भाजपा के सोफी मोहम्मद यूसुफ के साथ त्रिकोणीय मुकाबले में हैं।
कश्मीर में प्रमुख उम्मीदवारों में सीपीआई (एम) के मोहम्मद यूसुफ तारिगामी शामिल हैं जो कुलगाम से लगातार पांचवीं बार चुनाव लड़ रहे हैं। एआईसीसी महासचिव गुलाम अहमद मीर डूरू से तीसरे कार्यकाल की उम्मीद कर रहे हैं जबकि नेशनल कॉन्फ्रेंस की सकीना इटू दमहाल हाजीपोरा से एक और कार्यकाल की उम्मीद कर रही हैं। पीडीपी के सरताज मदनी (देवसर) और अब्दुल रहमान वीरी (शांगस-अनंतनाग) भी प्रमुख उम्मीदवार हैं जिन पर सबकी निगाहें रहेंगी। हालांकि सबकी निगाहें श्रीगुफवारा-बिजबिहाडा और पुलवामा विधानसभा क्षेत्रों पर टिकी होंगी जहां पीडीपी की इल्तिजा मुफ्ती और वहीद पारा चुनाव लड़ रहे हैं। इल्तिजा मुफ्ती जो अपने परिवार की तीसरी पीढ़ी की राजनीतिज्ञ हैं और बिजबिहाडा से चुनाव लड़ रही हैं। उनका मुकाबला एनसी के बशीर अहमद वीरी और भाजपा के सोफी मोहम्मद यूसुफ से त्रिकोणीय है। हालांकि पारा जो एक आतंकी मामले में आरोपी हैं को अपने पूर्व पार्टी सहयोगी मोहम्मद खलील बंद से कड़ी चुनौती मिल रही है जो अब एनसी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं। प्रतिबंधित जमात-ए-इस्लामी के पूर्व सदस्य तलत माजिद अली के मैदान में उतरने से यहां मुकाबला और भी रोमांचक हो गया है। तारिगामी को भी सयार अहमद रेशी जैसे उम्मीदवार का सामना करना पड़ रहा है।
जम्मू में पूर्व मंत्री सज्जाद किचलू (एनसी), खालिद नजीद सुहारवर्दी (एनसी), विकार रसूल वानी (कांग्रेस), अब्दुल मजीद वानी (डीपीएपी), सुनील शर्मा (भाजपा), शक्ति राज परिहार (डोडा पश्चिम) और गुलाम मोहम्मद सरूरी अपनी किस्मत आजमा रहे हैं। सरूरी तीन बार के विधायक हैं और डीपीएपी द्वारा टिकट न दिए जाने के बाद निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ रहे हैं। सरूरी दो साल पहले गुलाम नबी आजाद के समर्थन में कांग्रेस छोड़ने के बाद डीपीएपी में शामिल हुए थे। पूर्व विधायक दलीप सिंह परिहार (भाजपा), पूर्व एमएलसी फिरदौस टाक और इम्तियाज शान (पीडीपी), एनसी की पूजा ठाकुर जो किश्तवाड़ जिला विकास परिषद की मौजूदा अध्यक्ष हैं।
भाजपा का युवा चेहरा शगुन परिहार जिनके पिता अजीत परिहार और चाचा अनिल परिहार की नवंबर 2018 में आतंकवादियों ने हत्या कर दी थी और आप के मेहराज दीन मलिक मैदान में अन्य प्रमुख चेहरों में शामिल हैं। नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) और कांग्रेस के गठबंधन के बावजूद दोनों पार्टियों ने बनिहाल, भद्रवाह और डोडा में दोस्ताना मुकाबले के तहत अपने उम्मीदवार उतारे हैं जबकि बागी एनसी नेता प्यारे लाल शर्मा इंदरवाल से निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ रहे हैं और भाजपा के दो बागी राकेश गोस्वामी और सूरज सिंह परिहार भी रामबन और पद्दर-नागसेनी निर्वाचन क्षेत्रों से अपनी किस्मत आजमा रहे हैं।
बुधवार को जिन निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान होना है उनमें पंपोर, त्राल, पुलवामा, राजपोरा, जैनापोरा, शोपियां, डीएच पोरा, कुलगाम, देवसर, डूरू, कोकरनाग (एसटी), अनंतनाग पश्चिम, अनंतनाग, श्रीगुफवारा-बिजबेहरा, शांगस-अनंतनाग पूर्व, पहलगाम, इंदरवाल, किश्तवाड़, पद्दर-नागसेनी, भद्रवाह, डोडा, डोडा पश्चिम, रामबन और बनिहाल शामिल हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / बलवान सिंह