गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय : जहां भवनों के निर्माण के लिए भी काटे नहीं जाते पेड़ : नरसी राम बिश्नोई
स्थापना के समय थे कुल 18 पेड़, वर्तमान में पेड़ों की संख्या 50 हजार
दसवां पुष्प उत्सव आयोजित, तीन श्रेणियों की 48 उप श्रेणियों में आई 650 प्रस्तुतियां
हिसार, 27 फरवरी (हि.स.)। गुरू जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने कहा है कि गुरु जम्भेश्वर जी महाराज के नाम पर स्थापित यह विश्वविद्यालय प्रकृति व पर्यावरण के सिद्धांतों के अनुपालन के प्रति प्रतिबद्ध है। विश्वविद्यालय में भवनों के निर्माण के लिए भी पेड़ों को काटा नहीं जाता। बहुत ज्यादा जरूरत हो तो उनकी प्रतिस्थापना कर दी जाती है। विश्वविद्यालय की स्थापना के समय जहां विश्वविद्यालय परिसर में केवल 18 पेड़ थे। आज इनकी संख्या लगभग 50 हजार है।
प्रो. नरसी राम बिश्नोई मंगलवार को विश्वविद्यालय के बागवानी विभाग द्वारा आयोजित दसवें पुष्प उत्सव के उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे। विश्वविद्यालय के चौधरी रणबीर सिंह सभागार के सामने लॉन में आयोजित किए गए इस पुष्प उत्सव में विश्वविद्यालय की प्रथम महिला डा. वंदना बिश्नोई तथा कुलसचिव प्रो. विनोद छोकर विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने कहा कि विश्वविद्यालय ने देवी अमृता देवी के बलिदान से प्रेरित होकर पेड़ों को नहीं काटने का संकल्प लिया है। पेड़ों की अधिकता तथा हरियाली के कारण ही विश्वविद्यालय का तापमान शहर के अन्य स्थलों की तुलना में पांच डिग्री सेल्सियस कम रहता है। विश्वविद्यालय ने जीरो वाटर वेस्ट पोलिसी अपनाई है। विश्वविद्यालय में 25 लाख लीटर वेस्ट वाटर को रिसाइकिल करने के लिए वाटर ट्रीटमेंट प्लांट है। इस पानी को विश्वविद्यालय पेड़ों और पौधों की सिंचाई के लिए प्रयोग करता है।
विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो. विनोद छोकर ने कहा कि पुष्प उत्सव विश्वविद्यालय का गौरवपूर्ण आयोजन है। इस पुष्प उत्सव से विश्वविद्यालय में सकारात्मक ऊर्जा का संचार हुआ है। उन्होंने कहा कि पुष्प प्रकृति का अतुलनीय उपहार हैं। हमें इनका आनंद लेना चाहिए।
पंजाब नेशनल बैंक के सहयोग से चौधरी रणबीर सिंह सभागार के सेमिनार हाल-3 में हुए पुष्प उत्सव के पुरस्कार वितरण समारोह में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने विजेताओं को पुरस्कृत किया। पुष्प उत्सव में 65 प्रतिभागियोे ने 650 प्रस्तुतियां दी। पंजाब नेशनल बैंक की डिप्टी जीएम अंजू मितल विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रही। होर्टिकल्चर निदेशक प्रो. अशोक चैधरी, प्रोफेसर इंचार्ज होर्टिकल्चर प्रो. एचसी गर्ग, कार्यकारी अभियंता रघुबीर सिंह सुंडा व सलाहकार लैंडस्केप पालाराम उपस्थित रहे।
हिन्दुस्थान समाचार/राजेश्वर/संजीव